संतान की लंबी आयु के लिए अहोई अष्टमी व्रत आज
अहोई अष्टमी व्रत सोमवार को महिलाओं द्वारा अपनी संतान की लंबी आयु के लिए रखा जाएगा।
संवाद सहयोगी, बरनाला : अहोई अष्टमी व्रत सोमवार को महिलाओं द्वारा अपनी संतान की लंबी आयु के लिए रखा जाएगा। करवाचौथ के चार दिन बाद कार्तिक कृष्ण पक्ष की अष्टमी के दिन अहोई अष्टमी व्रत 21 अक्टूबर का है। यह महिलाएं अपनी संतान की लंबी आयु के लिए रखती है, ताकि उन्हें जिदगी में हमेशा खुशी मिले व मंजिल प्राप्ती में किसी भी तरह की परेशानी का सामना ना करना पड़े। इस बार अहोई अष्टमी व्रत का शुभ मुहुर्त 5.45 से शाम 6 बजकर 59 मिनट यानि 1 घंटा 17 मिनट का है। तड़के 4 बजे उठकर स्नान कर महिलाएं व्रत रखेंगी व पूरा दिन कुछ नहीं खाएगी। यहां तक कि महिलाएं इस व्रत में पानी भी नहीं पी सकती। व्रत के दौरान दोपहर तीन बजे अहोई अष्टमी की कथा सुनी जाएगी व रात को शुभ मुहुर्त में तारा निकलने पर अर्घ्य देकर व्रत खोलेंगी। अगर किसी महिला को संतान की प्राप्ती नहीं होती तो उसे व्रत रखने से संतान सुख मिल सकता है, ऐसा धर्म ग्रंथों का मानना है। इस दिन महिलाएं अहोई पार्वती माता से संतान प्राप्ती के साथ साथ संतान की रक्षा व लंबी आयु की प्रार्थना करती है। जब अहोई माता का व्रत रखने पर महिलाओं की संतान प्राप्ती की मनोकामना पूरी हो जाती है, तो वह 11 या 21 कलश भर कर अहोई माता की पूजा करती हैं व इसके बाद कलश को आस-पास के संबंधियों में बांट देती हैं।