शुक्रवार की रात हुई तेज बारिश से यातायात प्रभावित
बारिश के कारण सपा के स्कूल रोड नामदेव मार्ग मॉडल टाउन दिल्ली रोड दिल्ली रोड आजाद नगर मोती नगर गौशाला रोड सहित शहर के विभिन्न जगहों पर टूटी सड़कों पर सड़कों में मेरे गड्ढों में पानी भरने से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ा
संवाद सहयोगी, बरनाला, शुक्रवार : देर रात 8 बजे के करीब शुरू हुई तेज बारिश 9:30 बजे तक जारी रही। बारिश से बाजारों में हुए जलभराव से बस स्टैंड रोड, सदर बाजार, पक्का कॉलेज रोड, 22 एकड़ संघेड़ा रोड, संधू पत्ती सहित अन्य मोहल्लों में बारिश का पानी भर गया। बारिश से टूटी सड़कों में बने गड्ढ़ों में पानी भरने से रात के समय लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ा व यातायात प्रभावित रहा। शुक्रवार को हुई बारिश के बाद सारी रात बूंदाबादी होती रही व शनिवार सुबह सारा दिन आसमान में बादल छाए रहे व बीच में हुई बूंदाबांदी के बाद बादलों के बीच निकली धूप से मौसम अपने रंग बदलता रहा। शनिवार को कभी धूप तो कभी बूंदाबांदी ने लोगों को परेशानियों में डाल दिया।
इसी प्रकार के जिले के आसपास के क्षेत्र में भी शुक्रवार रात व शनिवार सुबह हुई तेज बारिश से बाजारों में जलभराव हो गया, जिससे राहगिरों को परेशानियों का सामना करना पड़ा व दो पहिया वाहनों में पानी भरने से इंजन खराब हो गए।
इस तरह बारिश के कारण तपा के स्कूल रोड, नामदेव मार्ग, मॉडल टाऊन, आजाद नगर, मोती नगर, गौशाला रोड सहित क्षेत्र के विभिन्न जगहों पर टूटी सड़कों पर सड़कों में बने गड्ढों में पानी भरने से लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा। इस अवसर पर दुकानदार प्रदीप कुमार, सोनू कुमार, जग्गा ¨सह आदि ने बताया कि नामदेव मार्ग की सड़क विगत कई वर्षों से निर्माण नहीं होने कारण लोगों को काफी
परेशानियां हो रही है, परंतु इसका कोई समाधान नहीं है। उन्होंने राजनीतिक नेताओं ने प्रशासन से मांग की, कि उनकी समस्या को जल्द समाधान किया जाएं, ताकि लोगों को राहत मिल सकें। हल्की बूंदाबांदी से किसानों के चेहरे खिले
कृषि विभाग के अधिकारी सरबजीत ¨सह ने कहा कि तेज बारिश के बाद अगर मौसम खुशनुमा हो जाएं व धूप निकल आए तो बारिश का कोई नुकसान नहीं होता, बल्कि फसलों के लिए फायदा पहुंचता है। आज से 10 दिन बाद अगर बारिश होगी तो उससे फसलों को नुकसान पहुंच सकता है। उन्होंने कहा कि भूरा टिड्डा से फसलों के बचाव के लिए किसान अपनी फसलों में चैस नामक दवा का छिड़काव करें। इससे फसल को नुकसान नहीं होगा।