पावरकॉम की उजाला स्कीम ने तोड़ा दम, अधिकारी बेखबर
अमृतसर : पावरकॉम की विभागीय उपभोक्ताओं को एनर्जी एफिशिएंसी सर्विसिस लिमिटेड (ईईएसएल) के सहयोग से उजाला स्कीम के तहत लाइट एमी¨टग डायोड (एलईडी) ट्यूब लाइट्स, बल्ब और पंखे मुहैया करवाने की योजना दम तोड़ चुकी है।
हरदीप रंधावा, अमृतसर : पावरकॉम की विभागीय उपभोक्ताओं को एनर्जी एफिशिएंसी सर्विसिस लिमिटेड (ईईएसएल) के सहयोग से उजाला स्कीम के तहत लाइट एमी¨टग डायोड (एलईडी) ट्यूब लाइट्स, बल्ब और पंखे मुहैया करवाने की योजना दम तोड़ चुकी है। प्रदेश के बिजली घरों में लगभग एक साल तक उजाला स्कीम के तहत ईईएसएल के उपकरण खरीदने वाले उपभोक्ता अपने आपको ठगा महसूस कर रहे हैं। तत्कालीन बिजली मंत्री राणा गुरजीत ¨सह ने 24 मई 2017 को उक्त स्कीम का शुभारंभ किया था। स्कीम की साल बाद नई टैंड¨रग न होने की वजह से तीन साल तक की गारंटी वाले उपकरण खरीदने वाले उपभोक्ता सरकार व पावरकॉम को कोस रहे हैं। से¨लग काउंटरों पर अब तक लगभग 13 लाख 83 हजार 116 एलईडी बल्ब, 71 हजार ट्यूबलाईटें व 17 हजार 936 छत वाले पंखे बेचे जा चुके हैं, जिसका कुल मिलाकर लगभग 5 लाख लोगों ने लाभ उठाया है।
65 में बल्ब, 220 में ट्यूबलाइट व 1150 रुपए में मिलता था पंखा
उजाला स्कीम के तहत ईईएसएल कंपनी ने 9 वाट का एलईडी बल्ब 65 रुपए, 20 वाट की एलईडी ट्यूबलाइट 230 और 50 वाट का छत वाला पंखा 1150 रुपए में बेचना शुरू किया था। एक उपभोक्ता अपना बिजली बिल, आईडेंटी कार्ड और एड्रेस प्रूफ दिखाकर एक ही समय पर 10 बल्ब, 10 ट्यूब लाइटें और 10 पंखे खरीद सकता था। कंपनी की ट्यूबलाइट बिना चोक की मदद से ही चलने और पंखे द्वारा बहुत ही कम बिजली की खपत करना लोगों के लिए किफायती साबित हो रहा था, जोकि वर्तमान समय में उपभोक्ताओं को खराब उपकरण बदलने में खासी दिक्कत हो रही है। -
स्कीम दोबारा शुरू करने के लिए जारी है बातचीत
ईईएसएल कंपनी की तरफ से पंजाब के डायरेक्टर नितिन भट्ट का कहना है कि कोई दो राय नहीं है कि पंजाब के बिजली घरों में उजाला स्कीम बंद हो चुकी है। बिजली घरों में उजाला स्कीम को दोबारा शुरु करने के लिए किसी सरकारी संस्था के साथ बातचीत जारी है। भट्ट का कहना है कि लोग किसी भी पोस्ट आफ्सि में जाकर अपने खराब उपरकण बदल सकते हैं।
अधिकारी ने जवाब देने की बजाय काटा फोन
बार्डर जोन के एसई हैडक्वार्टर जोध ¨सह सैणी से जब पावरकॉम द्वारा ईईएसएल कंपनी के सहयोग से चलाई गई उजाला स्कीम संबंधी पूछा, तो उन्होंने अनभिज्ञता जाहिर की। कार्यालय के पब्लिक रिलेशन विभाग से जानकारी मुहैया करवाने की बजाय इंजी. सैणी ने फोन काट दिया और दूसरी बार फोन करने पर भी सरकारी फोन को उठाना मुनासिब नहीं समझा। बार्डर जोन के चीफ इंजीनियर संदीप कुमार सूद के कहने पर ही उनसे जानकारी मांगी गई थी, क्योंकि इंजी. सूद ने किसी कार्यक्रम में होने का हवाला दिया था।