Move to Jagran APP

छह दिन पूर्व आई ट्रू नेट मशीन नहीं हुई ऑन

कोरोना वायरस से लोग वैसे ही सहमे हुए हैं और सेहत विभाग अधिकाधिक लोगों का कोरोना टेस्ट करवाने का असफल प्रयास कर रहा है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 02 Aug 2020 11:43 PM (IST)Updated: Sun, 02 Aug 2020 11:43 PM (IST)
छह दिन पूर्व आई ट्रू नेट मशीन नहीं हुई ऑन
छह दिन पूर्व आई ट्रू नेट मशीन नहीं हुई ऑन

नितिन धीमान, अमृतसर : कोरोना वायरस से लोग वैसे ही सहमे हुए हैं और सेहत विभाग अधिकाधिक लोगों का कोरोना टेस्ट करवाने का असफल प्रयास कर रहा है। वहीं विभागीय लापरवाही का तकाजा यह भी है कि सिविल अस्पताल में छह दिन पूर्व आई ट्रू नेट मशीन अब तक ऑन नहीं की गई। कोरोना से लोगों को बचाने के लिए साम-दाम-दंड-भेद की नीति अपना चुकी पंजाब सरकार के स्वास्थ्य विभाग की उपेक्षा ही कोरोना की भयावहता को बढ़ा सकती है।

loksabha election banner

दरअसल, स्वास्थ्य विभाग ने पिछले सप्ताह सिविल अस्पताल में एक ट्रू नेट मशीन भेजी थी। इस मशीन के जरिए महज डेढ़ घंटे में कोरोना टेस्ट की रिपोर्ट प्राप्त की जा सकती है। कोरोना काल में अमूमन उन लोगों के लिए यह मशीन वरदान है जो सड़क दुर्घटना में घायल हुए, गर्भवती महिलाएं या विवाद में जख्मी हुए लोग हैं। ऐसे मरीजों का उपचार करने से पूर्व तत्काल कोरोना टेस्ट करवाना लाजिमी है। ट्रू नेट मशीन के जरिए मरीज के गले से थ्रोट स्वैब लेकर टेस्ट किया जाता है। डेढ़ घंटे में रिपोर्ट मिलती है। क्योंकि वैसे कोरोना के सैंपल लेने के बाद रिपोर्ट तीसरे दिन आती है।

वहीं अमृतसर में प्रतिदिन 70 से अधिक कोरोना मरीज रिपोर्ट हो रहे हैं। कोरोना किसी को भी हो सकता है, इसलिए सबका टेस्ट करवाने के मकसद से टू नेट मशीन यहां लाई गई थी। अफसोस सिविल अस्पताल स्थित आइडीएसपी विभाग के स्टाफ ने इस मशीन को कवर से ही नहीं निकाला। यह वही लैब है जहां जिलेभर के स्वास्थ्य केंद्रों से सैंपल एकत्रित कर भेजे जाते हैं। लैब में कई कई दिन सैंपल पड़े रहते थे और खराब भी हुए। जिस लैब में सैंपलों को लेकर उदासीनता दिखाई जा रही हो, वहां ट्रू नेट मशीन को ऑन न करना कोई बड़ी बात नहीं। मशीन एक, काम अनेक

ट्रू नेट मशीन से कोरोना के अलावा 16 प्रकार की बीमारियों की जांच की जा सकती है। इनमें हैपेटाइटिस के चार प्रकार के टेस्ट, टीबी, निपाह वायरस, डेंगू, चिकनगुनिया, महिलाओं में होने वाला टपिलोमा, साल्मोना, क्लेमेडिया, एचएलए बी27 समेत कुल 16 प्रकार के टेस्ट शामिल हैं।

एंटीजन टेस्ट भी डावांडोल

सिविल अस्पताल में जुलाई माह में शुरू की गई एंटीजन टेस्ट की प्रक्रिया भी डावांडोल सी है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा टेस्टिग के लिए भेजी गई किट्स पिछले दिनों खत्म हो गईं, टेस्टिग प्रक्रिया बंद कर दी गई। अब विभाग ने महज 100 किटें भेजी हैं। इन किटों से 100 टेस्ट ही किए जा सकेंगे। इसके बाद यदि किटें नहीं आईं तो एंटीजन टेस्ट पुन: बंद कर दिया जाएगा। बता दें कि एंटीजन टेस्ट से कोरोना की रिपोर्ट महज 15 से 25 मिनट में मिल जाती है।

------

ट्रू नेट मशीन इंस्टॉल तो कर दी है, लेकिन वर्किंग में क्यों नहीं लाई गई, इसकी जानकारी सुबह अस्पताल आकर दे सकते हैं।

-डॉ. अरुण शर्मा, सिविल अस्पताल के एसएमओ।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.