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अटारी में कांग्रेस तो बाबा बकाला में अकाली दल का फंसा पेंच, पढ़ें क्या है वजह..

आल इंडिया कांग्रेस कमेटी की ओर से शनिवार को अमृतसर जिले की 11 में से 10 सीटें घोषित की गई।

By JagranEdited By: Published: Mon, 17 Jan 2022 12:05 AM (IST)Updated: Mon, 17 Jan 2022 12:05 AM (IST)
अटारी में कांग्रेस तो बाबा बकाला में अकाली दल का फंसा पेंच, पढ़ें क्या है वजह..

विपिन कुमार राणा, अमृतसर: आल इंडिया कांग्रेस कमेटी की ओर से शनिवार को अमृतसर जिले की 11 में से 10 सीटें घोषित की गई। कांग्रेस ने विधानसभा हलका अटारी से पार्टी प्रत्याशी की घोषणा नहीं की है। अटारी से चार बार लगातार विजेता रहे पूर्व कैबिनेट मंत्री व शिअद प्रत्याशी गुलजार सिंह रणीके के सामने कांग्रेस मजबूत प्रत्याशी देना चाहती है। कांग्रेस सूत्रों की मानें तो वर्तमान विधायक तरसेम सिंह डीसी को लेकर कांग्रेस द्वारा करवाया गया सर्वे संतोषजनक नहीं रहा है।

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कांग्रेस ने जिले के तमाम सीटिग विधायकों को टिकट दे दी है। तरसेम सिंह डीसी ने अटारी से 2012 में विधानसभा का चुनाव लड़ा था, पर वह हार गए थे। 2017 में उन्होंने जीत दर्ज की, जबकि रणीके अटारी से 1997 से 2012 तक लगातार जीतते आ रहे हैं। डीसी के अलावा अटारी से पंजाब राज्य अनुसूचित कमीशन के सदस्य तरसेम सिंह सियालका, जिला परिषद की वाइस चेयरपर्सन नवनीत कौर मार्केट कमेटी के पूर्व जिला मैनेजर अजयपाल सिंह रंधावा भी टिकट के लिए मैदान में है। कांग्रेस हाईकमान ने सभी दावेदारों की सर्वे रिपोर्ट मंगवाई है, ताकि जिताउ उम्मीदवार पर ही दांव खेला जा सके। फिलहाल डीसी समर्थक भी शांत बैठे हुए है और हाईकमान के अंतिम फैसले की प्रतीक्षा कर रहे है। जल्दबाजी में अकाली दल नहीं लेना चाहता कोई फैसला

अकाली दल ने भी अमृतसर जिले की नौ विधानसभा सीटों पर अपने प्रत्याशियों की घोषणा की हुई है, पर बाबा बकाला विस सीट पर दो पूर्व विधायकों के बीच सियासी जंग चल रही है। जंडियाला गुरु से विधायक रहे बलजीत सिंह जलालउमसा जहां टिकट के लिए पूरा जोर लगा रहे हैं, वही खडूर साहिब सीट से विधायक रहे मनजीत सिंह मन्ना भी घोषणा कर चुके है कि वह इसी सीट से चुनाव लड़ेंगे। दोनों ही अकाली दल के वरिष्ठ नेता हैं और जल्दबाजी में अकाली दल भी कोई फैसला लेना नहीं चाहती। यही वजह है कि अभी तक इस सीट पर प्रत्याशी की घोषणा नहीं हो सकी है। कांग्रेस देहाती के प्रधान भाजपा में, मजीठा से टिकट की संभावना

विधानसभा हलका मजीठा से कांग्रेस पार्टी की ओर से जगविदर सिंह जग्गा मजीठिया को टिकट देने से खिन्न चल रहे जिला कांग्रेस कमेटी देहाती के प्रधान भगवंत पाल सिंह सच्चर ने भाजपा ज्वाइन कर ली। भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री तरुण चुघ ने उन्हें पार्टी ज्वाइन करवाई। उनके साथ कांग्रेस के सीनियर उपाध्यक्ष रहे प्रदीप सिंह भुल्लर ने भी भाजपा ज्वाइन कर ली। दोनों नेताओं का मजीठा में अच्छा आधार है। संभावना है कि भाजपा सच्चर को मजीठा से प्रत्याशी बना सकती है। इसके अलावा भाजपा में शामिल होने वालों में रतन सिंह सोहल(अटारी) और परमजीत सिंह रंधावा का नाम भी है।

सभी का पार्टी में स्वागत करते हुए चुघ ने कहा कि भाजपा के पक्ष में एक लहर शुरू हो गई है और यह जल्द ही भारी जनसमर्थन के रूप में देखने को मिलेगी। विधानसभा चुनाव के बाद पंजाब का कांग्रेस मुक्त बनना तय है। पंजाब में कांग्रेस के खिलाफ व्यापक आक्रोश है और आने वाले चुनावों में कांग्रेस का सफाया होना कोई आश्चर्य की बात नहीं है। चुघ ने कहा कि आने वाले दिनों में कई और कांग्रेस के दिग्गज नेताओं के भाजपा में शामिल होने की संभावना बनी हुई है। सच्चर सिविल इंजीनियर, कई अहम पदों पर रहे

54 वर्षीय सच्चर सिविल इंजीनियर हैं। 2000 में कांग्रेस के साथ जुड़े। जिला परिषद के वाइस चेयरमैन, प्लानिग बोर्ड के मेंबर रहे और हाल ही में उन्हें दूसरी बार जिला कांग्रेस देहाती प्रधान बनाया गया था। वह खालसा कालेज गवर्निग काउंसिल के मेंबर, चीफ खालसा दीवान के मेंबर, गुरु खालसा हाई स्कूल शाम नगर के प्रधान हैं।


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