Move to Jagran APP

मौत का सामान तैयार कर रहीं पटाखा फैक्ट्रियां

त्यौहारों का मौसम शुरू हो चुका है। महानगर में कई वैध और अवैध पटाखा फैक्ट्रियों ने आतिशबाजी बनाने का काम करना शुरू कर दिया है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 09 Aug 2020 12:07 AM (IST)Updated: Sun, 09 Aug 2020 06:14 AM (IST)
मौत का सामान तैयार कर रहीं पटाखा फैक्ट्रियां
मौत का सामान तैयार कर रहीं पटाखा फैक्ट्रियां

जागरण संवाददाता, अमृतसर: त्यौहारों का मौसम शुरू हो चुका है। महानगर में कई वैध और अवैध पटाखा फैक्ट्रियों ने आतिशबाजी बनाने का काम करना शुरू कर दिया है। इन्हीं पटाखों के कारण शहर में कई बड़े हादसे भी हो चुके हैं। बीते साल बटाला की पटाखा फैक्ट्री में आग लगने के कारण दर्जनों लोग मौत के मुंह में समा गए थे। गुरु नगरी में भी हर साल कभी अनगढ़, जहाजगढ़ तो कभी छेहरटा में पटाखों के गोदाम व फैक्ट्रियों में आग लगने की घटनाएं होती रहती हैं। हादसे के बाद प्रशासन कुंभकरण की नींद से तो उठता है। मामूली कार्रवाई के बाद फिर सो जाता है। पटाखा कारोबारी फिर लापरवाही से पटाखों के निर्माण में लग जाते हैं।

loksabha election banner

इब्बन गांव के गुरविदर सिंह, हरजीत सिंह, प्रिस, हरदीप सिंह ने बताया कि इलाके में पटाखों की कुल तीन फैक्ट्रियां हैं। कई सालों से वे खौफ की जिदगी में जी रहे हैं। खासकर दीवाली के दिनों में तो फैक्ट्रियों के बाहर से गुजरने से डर लगता है। दो साल पहले भी इस फैक्ट्री में आग लगी थी। वह प्रशासन से कई बार कह चुके हैं कि इस तीनों पटाखा फैक्ट्रियों को उनकी रिहायशी कालोनियों से दूर कर दें ताकि भविष्य में बड़ा हादसा होने से रोका जा सके, लेकिन प्रशासन लोगों की एक नहीं सुन रहा। उन्होंने बताया जब पटाखों से धमाके होने लगे तो वह रास्ते में ही थे। उन्होंने फैक्ट्री की टीन की छतों को हवा में उड़ते देखा। लगभग ढाई किलोमीटर के दायरे में जोरदार धमाकों की आवाज सुनी गई। देखते ही देखते मूलेचक गांव और इब्बन गांव के लोग मौके पर पहुंचे। उन्होंने देखा कि फैक्ट्री के अंदर काम कर रहे लोग किस तरह अपनी जान बचाकर भागे।

फैक्ट्री में नहीं थे अग्निशमन यंत्र

इब्बन गांव के पास पटाखा फैक्ट्री कानून को ताक पर रखकर चलाई जा रही थी। बड़े स्तर पर यहां पटाखे तैयार करवाए जा रहे थे, लेकिन कर्मियों की सुरक्षा के लिए बंदोबस्त नहीं था। न तो फैक्ट्री में रेत की बाल्टियां थीं और न ही कोई अग्निशमन यंत्र। इन हालातों में अगर आगजनी होती है तो कर्मी आग पर काबू कैसे पाएंगे। जांच में सामने आया कि फैक्ट्री में काम करने वाले कर्मचारियों को अग्निशमन यंत्र चलाने की ट्रेनिग भी नहीं दी गई थी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.