Move to Jagran APP

लखनऊ नगर व गौतमबुद्धनगर में पुलिस कमिश्नर प्रणाली : थानों से जुड़े अफसर नहीं होंगे मजिस्ट्रेट

Police Commissioner System in UP पारदर्शिता को बनाए रखने के लिए क्षेत्र व थानों से जुड़े अधिकारियों को कार्यपालक मजिस्ट्रेट की शक्तियों के प्रयोग से अलग रखने का निर्णय किया गया।

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Fri, 17 Jan 2020 11:38 AM (IST)Updated: Fri, 17 Jan 2020 04:13 PM (IST)
लखनऊ नगर व गौतमबुद्धनगर में पुलिस कमिश्नर प्रणाली : थानों से जुड़े अफसर नहीं होंगे मजिस्ट्रेट
लखनऊ नगर व गौतमबुद्धनगर में पुलिस कमिश्नर प्रणाली : थानों से जुड़े अफसर नहीं होंगे मजिस्ट्रेट

लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लखनऊ नगर व नोएडा (गौतमबुद्धनगर) में पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू होने के बाद अब प्रक्रिया पर भी जोरदार कवायद जारी है। लखनऊ नगर व नोएडा (गौतमबुद्धनगर) में तैनात अधिकारियों के अधिकारों को लेकर डीजीपी मुख्यालय स्तर पर चल रहा मंथन अंतिम चरण में पहुंच गया है।

loksabha election banner

दोनों शहर में व्यवस्था की पारदर्शिता को बनाए रखने के लिए क्षेत्र व थानों से जुड़े अधिकारियों को कार्यपालक मजिस्ट्रेट की शक्तियों के प्रयोग से अलग रखने का निर्णय किया गया है। सूत्रों का कहना है कि थानों से जुड़े अधिकारियों के पास कार्यपालक मजिस्ट्रेट की कोई शक्ति नहीं होगी। डीजीपी ओपी सिंह ने इसके साथ कई अन्य कड़े निर्देश दिए हैं।

लखनऊ में संयुक्त पुलिस आयुक्त कानून-व्यवस्था पांच जोन के पुलिस उपायुक्त के बॉस होंगे। संयुक्त पुलिस आयुक्त क्राइम व मुख्यालय के अधीन मुख्यालय, क्राइम, महिल अपराध, इंटेलीजेंस व यातायात के पुलिस उपायुक्त होंगे। संयुक्त पुलिस आयुक्त अपने-अपने पुलिस उपायुक्तों व उनके अधीनस्थ अधिकारियों के कामों की समीक्षा करेंगे। नोएडा में दोनों अपर पुलिस आयुक्तों के अधीन पुलिस उपायुक्त व अन्य अधिकारी काम करेंगे। किन-किन मामलों में कार्यपालक मजिस्ट्रेट की शक्तियां किस-किस स्तर के अधिकारियों को सौंपी जाए, इसे लेकर भी मंथन अंतिम चरण में है।

शुक्रवार तक इसे लेकर अंतिम निर्णय किए जाने की संभावना है। बताया गया कि गुरुवार को डीजीपी, एडीजी कानून-व्यवस्था पीवी रामाशास्त्री, लखनऊ शहर के पुलिस आयुक्त सुजीत पांडेय व डीजीपी मुख्यालय के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने कई बिंदुओं पर विस्तार से चर्चा की भी। महाराष्ट्र व अन्य राज्यों में लागू कमिश्नर प्रणाली के अध्ययन के अनुरूप कई स्तर विचार के बाद व्यवस्थाओं को तय किया रहा है। अधीनस्थों के खिलाफ दंड की कार्रवाई के अधिकार भी तय किए जा रहे हैं। खासकर यातयात व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए भी कार्ययोजना तैयार की जा रही है।  


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.