Video: उद्धव ठाकरे के लिए फूट-फूटकर रोए थे MLA संतोष बांगर, अब शिंदे कैंप में शामिल होकर दिया झटका
Maharashtra Politics महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे को सोमवार को दोहरा झटका लगा। उद्धव विश्वास मत के टेस्ट में फेल तो हुए ही साथ ही उनके कैंप के एक विधायक शिंदे गुट में शामिल हो गए। संजय बांगर कभी उद्धव गुट के विधायक थे।
नई दिल्ली, आनलाइन डेस्क। कहते हैं कि राजनीति में कभी कोई स्थायी दोस्त या दुश्मन नहीं होता। मौजूदा दौर में महाराष्ट्र की सियासत के लिए ये पंक्ति एकदम सटीक बैठती है। चंद रोज पहले शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे की वफादारी की कस्में खाने वाले विधायक एक-एक कर शिंदे कैंप में शामिल हो रहे हैं। सोमवार को महाराष्ट्र विधानसभा में हुए फ्लोर टेस्ट से पहले एक और विधायक बगावत का झंडा बुलंद कर मुख्यमंत्री एकनाथ के गुट में शामिल हो गए।
विधायक संजय बांगर अभी कुछ दिनों पहले उद्धव ठाकरे के साथ थे, लेकिन अचानक पाला बदलकर उन्होंने पूर्व सीएम को झटका दे दिया। बांगर सोमवार सुबह महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उनके गुट के विधायकों के साथ दिखे। बांगर सुबह होटल से शिंदे गुट के विधायकों के साथ निकले थे और उनके साथ विधानसभा पहुंचे।
शिंदे गुट से मिलने वाले बांगर का एक वीडियो वायरल हो रहा है। ये वीडियो करीब हफ्ता भर पुराना है। वो सार्वजनिक मंच पर उद्धव ठाकरे के लिए फूट-फूटकर रो रहे थे। दरअसल, कुछ दिनों पहले शिवसेना के विधायकों ने एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में बगावत कर दी थी। बागी विधायक मुंबई से गुजरात के सूरत गए और फिर असम के गुवाहाटी के होटल में ठहरे।
शिवसेना के अंदर हुई बगावत के कुछ दिन बाद विधायक बांगर अपने इलाके में रैली कर रहे थे। इस दौरान वो जनता के सामने हाथ जोड़कर रोने लगे। बांगर अपने इलाके की जनता को संबोधित कर रहे थे। तब उन्होंने एकनाथ शिंदे से वापस आने का अनुरोध किया था। हालांकि, मौके को देखते हुए बांगर अब खुद ही शिंदे कैंप में शामिल हो गए हैं। देखें वीडियो
आज मतदारसंघांमध्ये परत आल्यानंतर उपस्थित शिवसैनिकांना संबोधित करताना अश्रू अनावर झाले....शेवटच्या श्वासापर्यंत आदरणीय शिवसेना पक्षप्रमुख #उद्धव_ठाकरे साहेबा सोबत. @ShivSena @AUThackeray pic.twitter.com/loMHpUI4cL
— आमदार संतोष बांगर (@santoshbangar_) June 24, 2022
शिंदे गुट को मिले 164 वोट
महाराष्ट्र विधानसभा शिंदे गुट ने विश्वमात हासिल कर लिया। शिंदे गुट को कुल 164 वोट मिले जबकि विरोध में 99 वोट पड़े। वोटिंग से 22 विधायक गैरहाजिर भी रहे। जिनमें से 10 विधायक कांग्रेस के थे।