Move to Jagran APP

Maharashtra: मुंबई लौट रहे कांग्रेस विधायक, शिवसेना का यूटर्न, न्‍यूनतम साझा कार्यक्रम पर कमेटियां गठित

महाराष्‍ट्र में राष्‍ट्रपति शासन लागू होने के बाद भी सियासी सरगर्मी थमने का नाम नहीं ले रही है। शिवसेना ने राज्‍यपाल के फैसले को चुनौती देने का निर्णय फ‍िलहाल टाल दिया है।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Wed, 13 Nov 2019 12:02 PM (IST)Updated: Wed, 13 Nov 2019 02:01 PM (IST)
Maharashtra: मुंबई लौट रहे कांग्रेस विधायक, शिवसेना का यूटर्न, न्‍यूनतम साझा कार्यक्रम पर कमेटियां गठित

नई दिल्‍ली/मुंबई। राज्‍यपाल भगत सिंह कोश्‍यारी की ओर से राष्‍ट्रपति शासन की सिफारिश और केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा इस पर मुहर लगाए जाने के बाद कल यानी मंगलवार को महाराष्‍ट्र में राष्‍ट्रपति शासन लागू हो गया। इसके बाद शिवसेना ने राज्यपाल के द्वारा अधिक समय नहीं दिए जाने के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की। हालांकि शिवसेना ने आज यानी बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में दाखिल अर्जी पर यू-टर्न ले लिया। इस बीच कांग्रेस और एनसीपी ने साझा न्‍यूनतम कार्यक्रम के मसले पर कमेटियां गठित कर दी हैं। 

loksabha election banner

कांग्रेस विधायकों की हो रही वापसी 

शिवसेना ने अपना रुख बदलते हुए कहा है कि अभी राष्ट्रपति शासन के फैसले को वह चुनौती नहीं देगी। शिवसेना के वकील सुनील फर्नांडिस ने बताया कि उन्‍होंने शिवसेना की ओर से सुप्रीम कोर्ट में नई याचिका दाखिल नहीं की है। याचिका कब दायर की जाए अभी इस पर भी फैसला नहीं लिया गया है। ना तो हम राज्यपाल द्वारा मोहलत नहीं दिए जाने की कल की याचिका को ही मेंशन कर रहे हैं। इस बीच कांग्रेस के विधायक राजस्‍थान के जयपुर से मुंबई वापस लौट रहे हैं। 

एनसीपी और कांग्रेस ने गठित की कमेटियां 

एनसीपी नेता अजित पवार ने बताया कि आज पार्टी विधायकों की बैठक हुई जिसमें उनका कहना था कि राज्‍य में जितनी जल्‍द हो सके सरकार बननी चाहिए। दूसरी ओर कांग्रेस ने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के साथ साझा न्यूनतम कार्यक्रम पर बातचीत के लिए महाराष्ट्र कांग्रेस के नेताओं की एक समिति गठित कर दी है। कमेटी में अशोक चव्हाण, पृथ्वीराज चव्हाण, मणिकराव ठाकरे, बालासाहेब थोरात और विजय वडेट्टीवार शामिल हैं। रिपोर्टों के मुताबिक, एनसीपी ने भी इस मसले पर अपने पांच नेताओं की कमेटी गठित कर दी है। 

उद्धव का राज्‍यपाल के फैसले पर तंज 

कल उद्धव ठाकरे ने राज्‍यपाल भगत सिंह कोश्‍यारी के फैसले पर तंज कसते हुए कहा था कि हमने तो उनसे 48 घंटे की मोहलत मांगी थी लेकिन उन्‍होंने हमें छह महीने का समय दे दिया है। यह सच्चा हिंदुत्‍व नहीं है जब आप राम मंदिर का समर्थन करते हैं लेकिन अपना वादा तोड़ देते हैं। इस बीच राकांपा नेता अजीत पवार ने कहा है कि यदि दलबदल की स्थिति है तो तीनों पार्टियां एक आम उम्मीदवार उतारेंगी जिसके बाद हमें कोई भी नहीं हरा सकता है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.