भ्रष्टाचार में डूबी कांग्रेस किस मुंह से राफेल पर उठा रही है सवाल: रविशंकर प्रसाद
केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने आज कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा।
नई दिल्ली (जेएनएन)। सीबीआइ के फंदे में घिरे बेटे कार्ति से भ्रष्टाचार को लेकर चल रही पूछताछ के बीच भाजपा ने पूर्व वित्तमंत्री पी चिदंबरम को भीे पीएनबी घोटाले के आरोपी मेहुल चोकसी के साथ जोड़ दिया है। संप्रग सरकार जाने के महज कुछ घंटे पहले तत्कालीन एटी-ट्वैंटी स्कीम के तहत गीतांजलि ज्वेलर्स को अनुमति दिए जाने के फैसले पर सवाल उठाते हुए केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने पूछा कि चिदंबरम ने ऐसा क्यों किया था? ध्यान रहे कि गीतांजलि मेहुल चोकसी कंपनी है। लगे हाथों पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के काल में बढ़े एनपीए और पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह के दामाद को दिए गए एनपीएन लोन का हवाला देते हुए राहुल गांधी से भी जवाब मांगा।
पूर्वोत्तर के तीन राज्यों में जीत के उत्साह से भरपूर भाजपा अब 2019 की तैयारियों में जुट गई है। यही कारण है कि एक तरफ जहां कांग्रेस के आरोपों पर तीखा पलटवार जारी है वहीं उन मुद्दों पर भी सरकार की सोच स्पष्ट की जाने लगी है जिसे लेकर विपक्ष में भ्रम फैलाया था। जिम्मेदारी दी गई थी तेज तर्रार मंत्री रविशंकर प्रसाद को। सोमवार को संसद में विपक्ष ने पीएनबी का मुद्दा उठाया था।
भाजपा कार्यालय से रविशंकर ने कांग्रेस को याद दिलाया कि 2013 के अगस्त में चिदंबरम ने एटी -ट्वैंटी स्कीम लागू की थी जिसमें केवल एमएमटीसी और पीएसयू को सोना आयात करने का अधिकार दिया गया था। लेकिन 16 मई को जिस दिन लोकसभा चुनाव का नतीजा आ रहा था और कांग्रेस हार रही थी, उसी दिन चिदंबरम ने सात निजी कंपनियों को भी इसकी छूट दे दी जिसमें चोकसी की कंपनी गीतांजलि भी शामिल थी। रविशंकर ने पूछा कि खुद चिदंबरम और राहुल को इसका जवाब देना चाहिए कि यह किसे फायदा पहुंचाने के लिए था।
रविशंकर ने कहा कि इसका उल्लेख कैग रिपोर्ट में भी है। जाहिर है कि एक दूसरे मामले में कार्ति की बेगुनाही की बात कर रहे चिदंबरम को अब खुद को राफ साफ करना होगा। रविशंकर ने एनपीए का पूरा ठीकरा भी संप्रग सरकार पर फोड़ा और कहा कि उस काल में बैंको ने लगभग 52 लाख करोड़ का लोन दिया था जिसमें 2014 तक 36 फीसद हिस्सा फंसा हुआ दिखाया गया था। लेकिन ऐसा इसलिए क्योंकि सच्चाई छिपाई जा रही थी। आज के दिन पारदर्शिता के कारण यह सच्चाई बाहर आई है उक्त 52 लाख करोड़ का 82 फीसद हिस्सा फंसा हुआ है। इसका एक बड़ा हिस्सा एनपीए हो चुका है।
रविशंकर ने कहा कि कांग्रेस झूठ, भ्रम और भय फैलाकर सरकार को बदनाम करना चाहती है। लेकिन लगातार आ रहे चुनावी नतीजों से साफ है कि जनता उस भ्रम के जाल में फंसने को तैयार नहीं है। उन्होंने कहा कि राफेल को लेकर कांग्रेस सरकार 10 साल तक तय नहीं कर पाई। मोदी सरकार ने न केवल फैसला लिया बल्कि उचित कीमत पर प्रभावी राफेल लिया है। इस क्रम में रविशंकर ने 13 अंकों के मोबाइल नंबर, बैंकों में खाताधारकों से कनवीनियंस फी वसूलने जैसे अफवाहों के लिए भी कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया। एक सवाल के जवाब में रविशंकर ने कहा कि त्रिपुरा जीते हैं और आने वाले दिनों में केरल में भी वाम का अंत होगा।