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पहले दिन राज्यसभा और लोकसभा में नहीं चली सदन की कार्यवाही, जानें किन मुद्दों पर चर्चा के लिए अड़ा विपक्ष

पेट्रोल डीजल और रसोई गैस की महंगाई को लेकर सरकार को घेरते हुए विपक्ष ने संसद के दोनों सदनों में भारी हंगामा किया। संसद के दोनों सदनों में कार्यस्थगन प्रस्ताव का नोटिस देकर विपक्ष ने बहस की मांग करते हुए हंगामा किया।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Mon, 08 Mar 2021 07:50 PM (IST)Updated: Mon, 08 Mar 2021 07:50 PM (IST)
पहले दिन राज्यसभा और लोकसभा में नहीं चली सदन की कार्यवाही, जानें किन मुद्दों पर चर्चा के लिए अड़ा विपक्ष
पेट्रोल, डीजल और रसोई गैस की महंगाई को लेकर विपक्ष ने संसद के दोनों सदनों में भारी हंगामा किया।

नई दिल्ली, जेएनएन। पेट्रोल, डीजल और रसोई गैस की महंगाई को लेकर सरकार को घेरते हुए विपक्ष ने संसद के दोनों सदनों में भारी हंगामा किया। संसद के दोनों सदनों में कार्यस्थगन प्रस्ताव का नोटिस देकर विपक्ष ने पेट्रोलियम उत्पादों पर लगातार बढ़ाए गए टैक्स में कमी के साथ बहस की मांग करते हुए सदन को ठप कराया। पेट्रोल, डीजल की कीमतों को लेकर हुए हंगामे के साथ ही संसद के बजट सत्र का दूसरा चरण शुरू हो गया।

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तुरंत चर्चा पर अड़ा विपक्ष

राज्यसभा की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्ष के नए नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने पेट्रोल-डीजल की कीमतों में इजाफे के खिलाफ दिए गए अपने कार्यस्थगन प्रस्ताव के नोटिस का हवाला देते हुए इस मुद्दे पर तत्काल चर्चा की मांग की। सभापति वेंकैया नायडू ने उनके इस नोटिस को नामंजूर करते हुए कहा कि विनियोग प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान इस मुद्दे को उठाया जा सकता है।

बहस की मांग पर सियासी उबाल

खड़गे ने कहा कि पेट्रोल, डीजल और रसोई गैस की कीमतों में हाल के समय में हुए भारी इजाफे के कारण हर वर्ग की मुश्किलें बढ़ गई हैं। पेट्रोल 100 रुपये तो डीजल करीब 90 रुपये प्रति लीटर हो गया है। 2014 के बाद पेट्रो उत्पादों पर टैक्स 820 फीसद तक बढ़ा दिया गया है। कांग्रेस नेता ने बहस की अपनी मांग दोहराई, मगर सभापति ने इसे खारिज कर दिया। तब कांग्रेस और कुछ अन्य विपक्षी दलों के सदस्य हंगामा, नारेबाजी करते हुए वेल में आ गए।

पहले दिन नहीं चली राज्‍यसभा

नायडू ने इसके बाद सदन को 11 बजे तक स्थगित कर दिया। कार्यवाही दोबारा शुरू हुई, तब भी विपक्षी सदस्य कीमतों में बढ़ोतरी के खिलाफ नारेबाजी करते रहे और सदन एक बजे तक और फिर पूरे दिन के लिए स्थगित हो गया। विपक्ष के आक्रामक तेवरों के चलते राज्यसभा में पहले दिन कोई कामकाज नहीं हुआ।

लोकसभा में भी दिखा विपक्षी उबाल

लोकसभा की कार्यवाही दो दिवंगत सांसदों को श्रद्धांजिल देने के बाद शाम पांच बजे शुरू हुई तो स्पीकर ओम बिरला ने पेट्रोल-डीजल और रसोई गैस की महंगाई पर कांग्रेस सदस्यों के कार्यस्थगन प्रस्ताव को नामूंजर करते हुए कहा कि मुद्दा अहम है। मगर इसे वित्त विधेयक पर चर्चा के क्रम में उठाया जा सकता है। इससे नाराज होकर कांग्रेस की अगुआई में विपक्षी खेमे के सदस्य हंगामा और नारेबाजी करते हुए वेल में चले गए।

अधीर रंजन ने संभाली कमान

कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि पेट्रोलियम उत्पादों के दाम में बेतहाशा इजाफा कर सरकार ने लोगों की मुसीबत बढ़ा दी है। तुरंत इस पर चर्चा कर लोगों को राहत देने का रास्ता निकाला जाना चाहिए। हंगामे के बीच स्पीकर ने अकाली दल की हरसिमरत कौर को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर बोलने के लिए कहा, तो उन्होंने कहा कि पेट्रोल-डीजल के साथ रसोई गैस जब महंगी होगी तो महिला भला खुश कैसे रहेगी?

स्पीकर के सुझावों की अनदेखी

हालांकि, उन्होंने कांग्रेस पर भी निशाना साधा और कहा कि पंजाब में उसकी सरकार पेट्रो उत्पादों पर सबसे ज्यादा टैक्स लगा रही है। महिला दिवस पर सदन का संचालन महिला सांसदों द्वारा किए जाने और उनके मुद्दे पर चर्चा के स्पीकर के सुझावों की अनदेखी करते हुए विपक्ष ने वेल में हंगामा जारी रखा। इसे देखते हुए सदन सात बजे तक स्थगित कर दिया गया। 


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