तमिलनाडु के कॉलेज में राहुल के कार्यक्रम की जांच के आदेश
शिक्षा निदेशालय ने क्षेत्रीय संयुक्त निदेशक को सर्कुलर जारी कर पूछा है कि आदर्श चुनाव आचार संहिता लागू होने के बाद एक राजनेता की मौजूदगी में चर्चा के लिए परिसर का उपयोग कैसे किया गया?
चेन्नई, प्रेट्र। 13 मार्च को राहुल गांधी का यहां के स्टेला मैरिस कॉलेज की छात्र- छात्राओं से संवाद करना राजनीतिक विवाद में बदलता दिखाई दे रहा है। अब तमिलनाडु सरकार ने इस बात की जांच के आदेश दिए हैं कि चुनाव आचार संहिता जारी होने के बाद आखिर कॉलेज ने इस कार्यक्रम की अनुमति कैसे दे दी। बता दें कि विद्यार्थियों से संवाद के दौरान राहुल ने सरकारी नौकरियों में महिलाओं को 33 फीसद आरक्षण देने की बात कही थी।
उच्च शिक्षा विभाग के चेन्नई जोन के क्षेत्रीय संयुक्त निदेशक आर सारूमथाई ने एक अधीनस्थ अधिकारी को मामले पर तुरंत जांच करके रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है। 14 मार्च को जारी एक विज्ञप्ति में बताया गया कि लोकसभा चुनावों के मद्देनजर आदर्श आचार संहिता लागू थी, ऐसी परिस्थितियों में आखिर कॉलेज ने इसकी अनुमति कैसे दे दी। सूत्रों के मुताबिक स्टेला मैरिस चेन्नई के 10 सरकारी सहायता प्राप्त कॉलेजों में से एक है।
ऐसे संस्थान न केवल राज्य के नियम-कानूनों से बंधे होते हैं बल्कि उनसे आचार संहिता का पालन करने की भी अपेक्षा की जाती है। चुनाव आयोग की वेबसाइट के मुताबिक आदर्श आचार संहिता जारी होने के बाद शैक्षिक संस्थानों (सहायता प्राप्त, सरकारी या निजी) और उनके मैदानों का उपयोग राजनीतिक अभियान और रैलियों के लिए नहीं किया जा सकता है। शिक्षा विभाग द्वारा किसी जांच के संबंध में जानकारी से कॉलेज प्रशासन ने इन्कार किया है। साथ ही मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने भी इस मुद्दे पर कोई टिप्पणी नहीं की है।