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    कृषि में संरचनात्मक सुधारों पर मुख्यमंत्रियों के संग चर्चा करेंगे प्रधानमंत्री

    By Sanjeev TiwariEdited By:
    Updated: Tue, 04 Jun 2019 08:55 PM (IST)

    मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल में नीति आयोग की गवर्निंग काउंसिल की पहली बैठक 15 जून को होगी। ...और पढ़ें

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    कृषि में संरचनात्मक सुधारों पर मुख्यमंत्रियों के संग चर्चा करेंगे प्रधानमंत्री

    हरिकिशन शर्मा, नई दिल्ली। सरकार कृषि क्षेत्र में व्यापक बदलाव के लिये संरचनात्मक सुधार करने जा रही है। इसी दिशा में कदम बढ़ाते हुए केंद्र एपीएमसी कानून व आवश्यक वस्तु अधिनियम में जरूरी बदलाव करने के लिये राज्यों के साथ विचार विमर्श करने जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में 15 जून को होने वाली नीति आयोग की गवर्निंग काउंसिल की बैठक में सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों की उपस्थिति में इन मुद्दों पर चर्चा की जाएगी।

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    नीति आयोग की गवर्निग काउंसिल में संघ शासित क्षेत्रों के उप-राज्यपाल और कई केंद्रीय मंत्री बतौर सदस्य शामिल हैं। मोदी सरकार के दोबारा सत्ता में लौटने के बाद काउंसिल की यह पहली बैठक है। सूत्रों ने कहा कि काउंसिल की बैठक में कृषि क्षेत्र के संस्थागत सुधारों पर जोर दिया जाएगा। खाकर एग्रीकल्चर प्रडूस मार्केट कमिटी (एपीएमसी) कानून और आवश्यक वस्तु अधिनियम, 1955 में जरूरी बदलाव पर भी चर्चा की जाएगी।

    सूत्रों ने कहा कि वर्षा जल को सहेजने के उपायों, सूखे की स्थिति और राहत उपायों, पिछड़े जिलों के विकास के लिये चलाये गये आस्पिरेशनल कार्यक्रम की अब तक की उपलब्धियों पर भी चर्चा होगी।प्रधानमंत्री ने 30 मई को शपथ ली है और इसके 15 दिन के भीतर ही यह बैठक बुलायी जा रही है। इससे इसकी अहमियत का अंदाजा लगाया जा सकता है।

    गौरतलब है कि काउंसिल की यह पांचवीं बैठक होगी। इसे पूर्व 17 जून 2018 को काउंसिल की चौथी बैठक हुई थी जिसमें किसानों की आय दोगुनी करने के उपायों पर चर्चा हुई थी। इस बैठक में सरकारी योजनाओं के क्रियान्वयन में प्रगति का जायजा भी लिया गया था। काउंसिल ने इस बैठक में मनरेगा की राशि का इस्तेमाल खेती में करने के विकल्प पर विचार करने के लिये मुख्यमंत्रियों के एक समूह का भी गठन किया था।

    इससे पूर्व 23 अप्रैल 2017 को काउंसिल की तीसरी बैठक में लोक सभा और राज्य विधान सभाओं के चुनाव एक साथ कराने और वित्त वर्ष अप्रैल से मार्च को बदलकर जनवरी से दिसंबर करने पर विचार किया गया था।उल्लेखनीय है कि मोदी सरकार ने तत्कालीन योजना आयोग को खत्म करने के बाद एक जनवरी 2015 को नीति आयोग की स्थापना की थी। नीति आयोग की गवर्निग काउंसिल की पहली बैठक आठ फरवरी 2015 को हुई थी। इसकी दूसरी बैठक 15 जुलाई 2015 को हुई।

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