एनसीपी सांसद सुप्रिया सुले बोलीं, मुझे कैबिनेट मंत्री बनाने का प्रस्ताव देना पीएम मोदी की उदारता
एनसीपी नेता सुप्रिया सुले ने कहा कि ये प्रधानमंत्री जी का बडप्पन है कि उन्होंने ऐसा सुझाव दिया।
नई दिल्ली, प्रेट्र। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) की सांसद सुप्रिया सुले ने मंगलवार को कहा कि उन्हें कैबिनेट मंत्री बनाने का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का प्रस्ताव उनकी उदारता दर्शाता है। हालांकि उनका यह प्रस्ताव मूर्त रूप नहीं ले सका।
सुप्रिया सुले ने बताया, 'मैं वार्ता (राकांपा अध्यक्ष शरद पवार और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच) में शामिल नहीं थी। लेकिन मुझमें विश्वास जताने के लिए मैंने प्रधानमंत्री को तहे दिल से शुक्रिया अदा किया। उन्होंने जो कुछ कहा उससे मैं बेहद अभिभूत हूं। लेकिन शरद पवार जी ने प्रधानमंत्री को बेहद विनम्रता से बता दिया कि यह संभव नहीं है।' सुप्रिया की यह टिप्पणी ऐसे समय आई है जब एक दिन पहले एक साक्षात्कार में शरद पवार ने कहा था कि मोदी सरकार ने उन्हें राष्ट्रपति बनाने का प्रस्ताव तो नहीं दिया था, लेकिन सुप्रिया को केंद्र में कैबिनेट मंत्री बनाने का प्रस्ताव अवश्य दिया था।
बारामती से सांसद सुप्रिया सुले से जब महाराष्ट्र की नई सरकार में अजीत पवार की भूमिका के बारे में सवाल किया गया तो उन्होंने कहा, 'वह हमारी पार्टी के नेता हैं और मेरे बड़े भाई हैं। पार्टी में वह हमेशा मेरे वरिष्ठ सहयोगी बने रहेंगे।' उन्होंने विश्वास जताया कि उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली नई सरकार महाराष्ट्र को नंबर एक राज्य बनाने के लिए काम करेगी और अपना पांच साल का कार्यकाल पूरा करेगी।
पीएम मोदी ने दिया था प्रस्ताव
एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें साथ काम करने का प्रस्ताव दिया था, लेकिन उन्होंने यह प्रस्ताव ठुकरा दिया। पवार ने यह बयान एक टेलीविजन चैनल से बातचीत में दिया है।
एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने कहा कि जब मुझे अजीत के समर्थन (फडणवीस को) की जानकारी मिली तो उद्धव ठाकरे से संपर्क करने वाला मैं पहला व्यक्ति था। मैंने उनसे कहा कि जो हुआ अच्छा नहीं हुआ और उन्हें आश्वस्त किया कि मैं इसे दबा (विद्रोह) दूंगा। जब राकांपा में सभी को पता चला कि अजीत की कार्रवाई को मेरा समर्थन नहीं है तो जो पांच-दस उनके साथ थे उन पर दबाव बन गया।'
परिवार में सभी को लगता था कि अजीत ने गलत किया
एनसीपी प्रमुख ने कहा कि उन्हें नहीं पता कि परिवार में किसी ने अजीत पवार से बात की थी या नहीं, लेकिन परिवार में सभी को लगता था कि अजीत ने गलत किया। बाद में मैंने उनसे कहा कि उन्होंने जो किया वह माफी योग्य नहीं है। कोई भी ऐसा करता तो उसे उसके परिणाम भुगतने पड़ते और आप भी अपवाद नहीं हैं। लेकिन साथ ही राकांपा में ऐसा एक बड़ा वर्ग है जिसकी उनमें आस्था है.. क्योंकि वह काम पूरा करते हैं।