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Maharashtra Politics: अजीत के साथ गुफ्तगू के बाद भाजपा ने सियासी बिसात पर चली अपनी चाल

राकांपा ने sअपने सभी विधायकों की एक बैठक यशवंतराव चह्वाण सेंटर में बुलाई थी। इस बैठक में अजीत पवार को राकांपा विधायक दल के नेता पद से हटा दिया गया।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Sat, 23 Nov 2019 10:54 PM (IST)Updated: Sun, 24 Nov 2019 07:21 AM (IST)
Maharashtra Politics: अजीत के साथ गुफ्तगू के बाद भाजपा ने सियासी बिसात पर चली अपनी चाल
Maharashtra Politics: अजीत के साथ गुफ्तगू के बाद भाजपा ने सियासी बिसात पर चली अपनी चाल

ओमप्रकाश तिवारी, मुंबई। शुक्रवार की शाम महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के रूप में शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे के नाम पर सहमत दिख रहे कांग्रेस-राकांपा के दिग्गज नेताओं की शनिवार सुबह जब नींद टूटी, तो टेलीविजन चैनलों पर उन्हें देवेंद्र फड़नवीस मुख्यमंत्री पद की और अजीत पवार उपमुख्यमंत्री पद की शपथ लेते दिखाई दे रहे थे। शरद पवार के लिए यह बड़ा झटका था। क्योंकि 12 घंटे पहले तक उनके साथ खड़ा दिख रहा भतीजा अब भाजपा के पाले में दिखाई दे रहा था। अब राज्यपाल ने दोबारा मुख्यमंत्री पद की शपथ ले चुके देवेंद्र फड़नवीस को 30 नवंबर तक सदन में बहुमत सिद्ध करने को कहा है। उधर शरद पवार ने भतीजे अजीत पवार को राकांपा विधायक दल के नेता पद से हटा दिया है। वहीं, शिवसेना, कांग्रेस और राकांपा 24 घंटे के भीतर बहुमत साबित करने की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट पहुंच गई हैं।

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शिवसेना के बदले सुर देखकर भाजपा चुप बैठी थी

पिछले माह की 24 तारीख को विधानसभा चुनाव के परिणाम आने के तुरंत बाद से शिवसेना के बदले सुर देखकर भाजपा चुप बैठी थी। उसे संख्याबल में अपनी कमजोरी का अहसास हो गया था, इसलिए उसने राज्यपाल के आमंत्रण पर भी सरकार बनाने से मना कर दिया। वह संभवत: शिवसेना-कांग्रेस-राकांपा की अगली ठोस चाल का इंतजार ही कर रही थी।

भाजपा ने सियासी बिसात पर अपनी चाल चलकर बनाई सरकार

शुक्रवार रात जब राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने महाविकास आघाड़ी की बैठक से निकलते हुए पत्रकारों को बताया कि मुख्यमंत्री पद के लिए शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे के नाम पर सहमति बन गई है, तो भाजपा ने महाराष्ट्र की सियासी बिसात पर अपनी चाल चल दी। महाराष्ट्र के राजभवन, दिल्ली स्थित राष्ट्रपति भवन एवं प्रधानमंत्री कार्यालय के बीच रात भर चले घटनाक्रम के उपरांत सुबह 5.47 बजे महाराष्ट्र में करीब 10 दिन पहले लगा राष्ट्रपति शासन हटा लिया गया और सुबह आठ बजे देवेंद्र फड़नवीस को मुख्यमंत्री पद की और राकांपा नेता अजीत पवार को उपमुख्यमंत्री पद की शपद दिलवा दी गई।

गुप्त थी भाजपा की सियासी चाल

इस शपथग्रहण समारोह में राकांपा की तरफ से तो करीब 12 विधायक उपस्थित भी हुए, भाजपा की तरफ से तो मुश्किल से आधा दर्जन नेता ही उपस्थित थे। इससे समझा जा सकता है कि यह 'ऑपरेशन शपथग्रहण' कितना गोपनीयता के साथ अंजाम दिया गया। शपथ लेने के बाद देवेंद्र फड़नवीस ने कहा कि जनता ने हमें स्पष्ट जनादेश दिया था। लेकिन शिवसेना दो अन्य दलों के साथ मिलकर खिचड़ी सरकार बनाने जा रही थी। जबकि महाराष्ट्र को इस समय एक स्थायी सरकार की जरूरत है। इसलिए हमने अजीत पवार के साथ मिलकर यह सरकार बनाने की पहल की है। अब हम राज्य को एक स्थायी और मजबूत सरकार देंगे।

अजीत ने पहले ही बना लिया था मन

माना जा रहा है कि अजीत पवार ने करीब 10 दिन पहले ही भाजपा के साथ जाने का मन बना लिया था। तभी राज्यपाल द्वारा राकांपा को मिली सरकार बनाने की अवधि पूरी होने से पहले ही उन्होंने राज्यपाल को पत्र भेजकर अवधि बढ़ाने की मांग कर राज्यपाल को राष्ट्रपति शासन की सिफारिश का बहाना मुहैया करा दिया था।

देर रात फोन कर राकांपा विधायकों को बुलाया गया

सुबह अजीत पवार के साथ राजभवन गए राकांपा के एक विधायक राजेंद्र शिंगणे के अनुसार उनके पास रात 12 बजे अजीत पवार का फोन आया और सुबह छह बजे मंत्रालय के सामने स्थित धनंजय मुंडे के सरकारी आवास पर आने को कहा। सुबह वहां पहुंचने पर कुछ और विधायक भी मौजूद थे। लेकिन स्वयं धनंजय मुंडे और अजीत पवार वहां नहीं थे। सात बजे के करीब अजीत पवार और धनंजय वहां आए और हम सभी लोग राजभवन गए। वहां एक छोटे हॉल में हमें बैठाया गया। कुछ देर बाद वहीं देवेंद्र फड़नवीस और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल भी आ गए।

सुबह आठ बजे राज्यपाल ने फड़नवीस एवं अजीत पवार को शपथ दिलवाई 

आठ बजे राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी हॉल में आए और देवेंद्र फड़नवीस एवं अजीत पवार को शपथ दिलवाई गई। शिंगणे का दावा है कि अजीत पवार के साथ गए विधायकों को उस समय तक यह जानकारी नहीं थी कि अजीत पवार उपमुख्यमंत्री पद की शपथ लेने जा रहे हैं। जबकि इसी समूह में गए अजीत समर्थक एक अन्य विधायक का कहना है कि सबको यह जानकारी थी। राजेंद्र शिंगणे सहित तीन विधायक शपथ ग्रहण के तुरंत बाद शरद पवार के निवास सिल्वर ओक पहुंचे और उन्हें पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी।

अपना फोन बंद कर भाई के घर जा बैठे अजीत

महाराष्ट्र की राजनीति में हंगामा मचाकर अजीत पवार मुंबई में ही स्थित अपने एक चचेरे भाई के आवास पर जाकर अपना फोन बंद कर लिया। दोपहर बाद जब उनके वहां होने का पता चला तो पवार ने उनके करीबी सुनील तटकरे के साथ दो अन्य वरिष्ठ नेताओं को उन्हें मनाने भेजा। लेकिन इन नेताओं को निराश होकर लौटना पड़ा।

विधायक दल के नेता पद से अजीत की छुट्टी

राकांपा ने शनिवार शाम को अपने सभी विधायकों की एक बैठक यशवंतराव चह्वाण सेंटर में बुलाई थी। इस बैठक में अजीत पवार को राकांपा विधायक दल के नेता पद से हटा दिया गया। नया नेता चुने जाने तक यह जिम्मेदारी फिलहाल पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी निभा रहे जयंत पाटिल को दी गई है।

राकांपा का 49 विधायकों के साथ होने का दावा

पार्टी प्रवक्ता नवाब मलिक के अनुसार अभी तक सिर्फ पांच विधायकों से संपर्क नहीं हो सका है। बाकी या तो बैठक में उपस्थित थे, अथवा उनसे संपर्क हो चुका है, और वे पार्टी के साथ हैं। अब तक एक बार भी सुरक्षित स्थान पर नहीं ले जाए गए राकांपा विधायकों को भी अब मुंबई के किसी होटल में सामूहिक प्रवास के लिए ले जाया गया है।

शाहपुर के राकांपा विधायक लापता, पुलिस में शिकायत दर्ज

महाराष्ट्र में सत्ता के लिए चले घटनाक्रम के बीच शाहपुर से राकांपा विधायक दौलत दरोडा लापता हो गए हैं। इस संबंध में पुलिस में शिकायत दर्ज कराई गई है। शनिवार सुबह राजभवन पहुंचने के बाद से विधायक लापता हैं। शुक्रवार रात ठाणे में अपने बेटे के साथ दरोडा अपने बेटे करण के साथ रवाना हुए थे। एक अधिकारी ने बताया कि मुंबई पहुंचने के बाद से उनका अतापता नहीं है। पूर्व विधायक पांडुरंग बरोरा ने शाहपुर पुलिस में शिकायत दर्ज करा दी। दरोडा के बेटे करण ने बताया कि शनिवार सुबह से ही पिता से संपर्क नहीं हो पा रहा है।

महाराष्‍ट्र के राजनीतिक घटनाक्रम की टाइम लाइन  

22 नवंबर 

11.45PM - महाराष्‍ट्र में सरकार बनाने के लिए अजीत पवार और भाजपा के बीच डील फाइनल हुई।

11.55PM - देवेंद्र फडणवीस ने पार्टी से एनसीपी-शिवसेना और कांग्रेस के जानने से पहले   शपथ ग्रहण का दावा किया और दावा पेश किया। 

23 नवंबर 

12:30AM- राज्‍यपाल ने दिल्‍ली की यात्रा रद की। 

2:30AM-राज्‍यपाल के सचिव को 5.47 बजे राष्‍ट्रपति शासन हटाने से संबंधित आदेश भेजने को कहा और 6:30 बजे शपथ ग्रहण की व्‍यवस्‍था शुरू हुई।

2:30AM-सचिव ने सूचित किया कि वह दो घंटे घंटे में फाइन को भेज देंगे और 7:30 बजे शपथ ग्रहण की सलाह दी। 

5:30AM -फडणवीस और अजीत राजभवन पहुंचे। 

5:47AM -राष्‍ट्रपति शासन हटाया गया और इसकी  9 बजे घोषणा की गई। 

7:50AM -राज्‍यपाल भगत सिंह कोश्‍यारी ने शपथ ग्रहण शुरू किया। 

8:01AM -फडणवीस के मुख्‍यमंत्री और अजीत के उप मुख्‍यमंत्री के रूप में शपथ ग्रहण की खबर सामने आई। 

8:16AM -पीएम मोदी ने न्‍यू सीएम और डिप्‍टी सीएम को बधाई दी।  


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