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छत्तीसगढ़ सरकार की बड़ी चूक, अफसरों की लापरवाही से नहीं हो सकी विधानसभा में चर्चा

छत्तीसगढ़ और अविभाजित मध्यप्रदेश के इतिहास में पहली बार हुआ है, जब अफसरों की तैयारी न होने के कारण विधानसभा में बजट पर चर्चा नहीं हो सकी।

By Mangal YadavEdited By: Published: Wed, 13 Feb 2019 04:40 PM (IST)Updated: Wed, 13 Feb 2019 10:05 PM (IST)
छत्तीसगढ़ सरकार की बड़ी चूक, अफसरों की लापरवाही से नहीं हो सकी विधानसभा में चर्चा
छत्तीसगढ़ सरकार की बड़ी चूक, अफसरों की लापरवाही से नहीं हो सकी विधानसभा में चर्चा

रायपुर, राज्य ब्यूरो। छत्तीसगढ़ और अविभाजित मध्यप्रदेश के इतिहास में पहली बार हुआ है, जब अफसरों की तैयारी न होने के कारण विधानसभा में बजट पर चर्चा नहीं हो सकी। कांग्रेस सरकार का यह पहला बजट है और बुधवार को पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की अनुदान मांगों पर चर्चा होनी थी। अचानक से सदन की कार्यवाही रोक दी गई और बजट पर चर्चा नहीं कराई गई। इस पर पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री टीएस सिंहदेव ने सदन में माफी मांगी है। कहा कि विभाग की तैयारी नहीं है, इसलिये चर्चा के लिए आगे की तारीख तय कर दी जाए।

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जिम्मेदार अफसरों पर कार्रवाई की मांग

विपक्षी सदस्यों ने इसे गंभीर चूक मानते हुए जिम्मेदार अफसरों पर कार्रवाई की मांग की है। सदस्यों ने बजट पर चर्चा न होने को सदन की अवमानना भी करार दिया है। पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ में पहली बार ऐसी घटना हुई है । मैं 1990 से विधायक हूं विधानसभा के इतिहास में यह पहली घटना है। ऐसा कभी नहीं देखा गया । यह गंभीर चूक है और सरकार की सोच बताती है कि सरकार के अधिकारी किस दिशा में सोच रहे हैं। उन्होंने कहा कि विभाग के बजट के लिए तारीख तय हो गया। विधायकों को प्रतिवेदन नहीं दिया गया। बगैर प्रतिवेदन के चर्चा कैसे होगी। सरकार की शुरुआत के लक्ष्य दिख रहे हैं। यह घटना सरकार का अपने काम के प्रति लापरवाही बता रही है।

जकांछ विधायक दल के नेता धर्मजीत सिंह ने कहा कि जिस विभाग की चर्चा होनी होती है उसका प्रतिवेदन एक दिन पहले विधायकों को दिया जाता है। अफसोस है कि पंचायत एवं ग्रामीण विकास का प्रतिवेदन सदस्यों को नहीं मिला और सदन की कार्यवाही रोक दी गई। 

कल रात ही दे दिया गया था प्रतिवेदन

मंत्री सिंहदेव ने कहा कि प्रतिवेदन छपकर पहुंचने में विलंब हुआ। हम चर्चा के लिए तैयार थे, लेकिन विपक्ष के सदस्यों का कहना था कि हमें चर्चा के लिए थोड़ा और वक़्त चाहिए। 15 साल सत्ता में रहने के बाद भी विपक्ष के सदस्यों को तैयारी के लिए और समय चाहिए था। सिंहदेव ने कहा कि मेरी भाजपा विधायक अजय चंद्राकर से व्यक्तिगत चर्चा हुई थी। उन्होंने कहा कि हमे और वक़्त चाहिए। विपक्ष का कहना था कि हमने पूरा प्रतिवेदन नहीं पढ़ा है। इसे पढ़ने के लिए और समय चाहिए। सिंहदेव ने कहा कि सरकार की पूरी तैयार थी और कल रात ही हमने सभी विधायकों को प्रतिवेदन भिजवा दिया था।


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