गांवों में मिलेंगी शहरों की सुविधाएं, सरकार का एक हजार से अधिक क्लस्टर बनाने का फैसला
गांवों को शहरों जैसी सुविधाओं से लैस करने वाली ररबन योजना का सरकार विस्तार करेगी जिसके तहत अगले तीन वर्षों में कुल एक हजार से अधिक क्लस्टर बनाने का फैसला किया गया है।
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। गांवों को शहरों जैसी सुविधाओं से लैस करने वाली ररबन योजना का सरकार विस्तार करेगी, जिसके तहत अगले तीन वर्षों में कुल एक हजार से अधिक क्लस्टर बनाने का फैसला किया गया है। योजना के संचालन के लिए पांच हजार करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। इसका उद्देश्य गांवों के लोगों के पलायन को रोकना है। इसके तहत गांवों का समग्र विकास करने की योजना है। नीति आयोग की इस योजना को सरकार ने मंजूरी दे दी है। सभी राज्यों से इसमें आगे आकर हिस्सा लेने की अपील की गई है।
मिशन को रफ्तार देने पर बल, सभी राज्यों से आगे आने की अपील
श्यामा प्रसाद मुखर्जी ररबन मिशन (एसपीएमआरएम) की चार साल बाद पूरी समीक्षा की गई। मिशन के तहत अब तक तीन सौ क्लस्टर चयनित किए गए हैं। ज्यादातर में विकास की प्रक्रिया चालू हो चुकी है। उनकी सफलता के बाद ही इसे और आगे बढ़ाने पर विचार किया जा रहा है। शहरी घनत्व में वृद्धि, गैर कृषि रोजगार के उच्च स्तर, आर्थिक गतिविधियां बढ़ने और अन्य सामाजिक-आर्थिक पैमाने जैसे शहरीकरण के बढ़ते संकेत मिल रहे हैं। मिशन का उद्देश्य स्थानीय स्तर पर आर्थिक विकास को नई गति प्रदान करने के साथ बुनियादी सेवाओं में बढ़ोतरी और सुव्यवस्थित ग्रामीण क्लस्टरों का सृजन कर इनमें व्यापक बदलाव लाना है। इससे संबंधित क्षेत्र का समग्र विकास होगा और एकीकृत एवं समावेशी ग्रामीण विकास को बढ़ावा मिलेगा।
नीति आयोग की पांच हजार करोड़ की योजना को मंजूरी
योजना में चयनित क्लस्टरों में से केवल 240 में कार्य चालू हो सका है। मिशन की धीमी गति को रफ्तार देने का फैसला किया गया है। यह मिशन पूरी तरह केंद्र, राज्य और सीएसआर की वित्तीय सहायता से चल रहा है। चल रहे क्लस्टरों के विकास के लिए अब तक केंद्र की ओर से कुल 1843 करोड़ रुपये जारी किए जा चुके हैं। राज्य और अन्य कारपोरेट सेक्टर की मदद से कुल 28 हजार करोड़ से अधिक धनराशि से योजनाएं चलाई जा रही हैं।
गांवों में होंगी ये सुविधाएं
ररबन क्लस्टर के गांवों के हर घर को चौबीस घंटे सातों दिन नल से पानी की आपूर्ति, घरेलू कचरा प्रबंधन, क्लस्टर के गांवों में और गांव के भीतर की सड़कों का प्रावधान, हरित प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल करते हुए पर्याप्त स्ट्रीट लाइट और सार्वजनिक परिवहन की सुविधाएं शामिल हैं। क्लस्टर में आर्थिक सुविधाओं में कृषि सेवाओं एवं प्रसंस्करण के क्षेत्र में विभिन्न विषयगत क्षेत्र, पर्यटन और लघु एवं मध्यम उद्यम को बढ़ावा देने के लिए कौशल विकास को शामिल किया गया है।