थम नहीं रहीं आजम खान की मुश्किलें, सपा सांसद पर कस सकता है मनी लांड्रिंग का शिकंजा
भ्रष्टाचार और धोखाधड़ी के मामलों में कहीं भी एफआइआर दर्ज होने की स्थिति में ईडी को मनी लांड्रिंग रोकथाम कानून के तहत केस दर्ज करने का अधिकार मिल जाता है।
नीलू रंजन, नई दिल्ली। समाजवादी पार्टी के सांसद व उत्तरप्रदेश के पूर्व मंत्री आजम खान की मुश्किलें अभी और भी बढ़ सकती है। जबरन और नियमों की धज्जियां उड़ाकर जमीन हथियाने के मामले में उनके खिलाफ अब मनी लांड्रिंग का शिकंजा कसने की तैयारी शुरू हो गई है। इसके लिए ईडी ने आजम खान से संबंधित मुकदमों की एफआइआर जुटाना शुरू कर दिया है।
मनी लांड्रिंग का केस दर्ज होने की स्थिति में जबरन नियम विरूद्ध बनाई गई संपत्तियों को जब्त करने का रास्ता साफ हो जाएगा।
उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार ईडी के लखनऊ स्थित कार्यालय से रामपुर के डीएम और एसपी को पत्र लिखकर आजम खान, पूर्व सीओ सीटी आले हसन खान और मोहम्मद अली जौहर यूनिवर्सिटी के खिलाफ सभी मुकदमों के एफआइआर की प्रति उपलब्ध कराने के लिए कहा गया है।
ध्यान देने की बात है कि भ्रष्टाचार और धोखाधड़ी के मामलों में कहीं भी एफआइआर दर्ज होने की स्थिति में ईडी को मनी लांड्रिंग रोकथाम कानून के तहत केस दर्ज करने का अधिकार मिल जाता है। जांच में अवैध तरीके से बनाई गई संपत्तियों के पाए जाने की स्थिति में ईडी इन्हें जब्त भी कर सकता है। इस संबंध में ईडी के उत्तरप्रदेश के संयुक्त निदेशक राजेश्वर सिंह से पूछा गया तो उन्होंने कुछ भी बताने से इनकार कर दिया।
दरअसल पिछले कुछ दिनों में आजम खान, आले हसन खान और मोहम्मद अली जौहर यूनिवर्सिटी के खिलाफ रामपुर में कुल 27 एफआइआर दर्ज कराये जा चुके हैं। इनमें से 25 एफआइआर किसानों ने और दो एफआइआर जिला प्रशासन ने दर्ज कराया है।
किसानों का आरोप है कि आजम खान ने मंत्री रहते हुए दबाव डालकर उनसे जमीन हथिया लिया था। आजम खान द्वारा रामपुर में जमीन हथियाने के नए-नए मामले सामने आ रहे हैं।