Move to Jagran APP

मध्य प्रदेश में कांग्रेस ने एक और वचन किया पूरा, अध्यात्म विभाग गठित

कमलनाथ ने मध्य प्रदेश में नए अध्यात्म विभाग के गठन का फैसला लिया है।

By Arti YadavEdited By: Published: Sun, 30 Dec 2018 09:39 AM (IST)Updated: Sun, 30 Dec 2018 09:39 AM (IST)
मध्य प्रदेश में कांग्रेस ने एक और वचन किया पूरा, अध्यात्म विभाग गठित
मध्य प्रदेश में कांग्रेस ने एक और वचन किया पूरा, अध्यात्म विभाग गठित

भोपाल, नईदुनिया। मुख्यमंत्री कमलनाथ ने मध्य प्रदेश में नए अध्यात्म विभाग के गठन का फैसला लिया है। इस विभाग में धार्मिक न्यास तथा धर्मस्व संचालनालय, तीर्थ एवं मेला प्राधिकरण, मुख्यमंत्री तीर्थ दर्शन योजना संचालनालय और राज्य आनंद संस्थान भी समाहित रहेंगे। इसके साथ ही ताप्ती, मंदाकिनी और क्षिप्रा नदी न्यास के गठन का एलान भी किया गया है।

loksabha election banner

अध्यात्म विभाग के गठन का उद्देश्य सभी धर्मो, पंथों और आस्था को समाहित करते हुए प्रदेश में साम्प्रदायिक सद्भाव और सर्वधर्म समभाव को बढ़ावा देना बताया गया है। अमेरिका, इंग्लैंड, अर्जेटीना, अफगानिस्तान, अल्जीरिया, बांग्लादेश, ब्रूनेई, म्यांमार, ट्यूनीशिया, इंडोनेशिया एवं डेनमार्क आदि कई देश में विभिन्न नाम से अध्यात्मिक मामलों का विभाग कार्यरत है। गौरतलब है कि धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व विभाग द्वारा शासन संधारित मंदिरों का जीर्णोद्धार, पुजारियों को मानदेय, धर्मशाला निर्माण, धार्मिक स्थलों की यात्रा, तीर्थ एवं मेला विकास के कार्य किए जाते हैं। विकसित देशों के विभिन्न अस्पतालों में भी डिपार्टमेंट ऑफ स्पिरिचुअल केयर होता है।

मंदाकिनी-क्षिप्रा नदी न्यास
सूर्यपुत्री ताप्ती नदी, मंदाकिनी नदी और क्षिप्रा नदी न्यास का गठन भी होगा। इसके तहत प्रदेश की पवित्र नदियों को जीवित इकाई बनाने के लिए कानून बनेगा। साथ ही शासकीय एवं ऐतिहासिक धर्मस्थानों के संधारण के लिए विशेष पैकेज, राम वन गमन पथ के प्रदेश में पड़ने वाले अंचलों का विकास किया जाएगा। नए विभाग के तहत धर्मस्थलों की संपत्तियों को अतिक्रमण से मुक्त कराने के लिए राजस्व एवं नगरीय प्रशासन विभाग का समन्वय, प्रदेश एवं प्रदेश के बाहर चिन्हित तीर्थस्थलों की यात्रा एवं प्रबंधन, आनंद मापन के मानदंड एवं कार्यक्रमों की पहचान, आनंद का प्रसार बढ़ाने के लिए विभिन्न विभागों के बीच समन्वय और आनंद विषय पर एक ज्ञान संसाधन केंद्र की तरह कार्य करना शामिल है।

विभाग के उद्देश्य

- सभी समुदायों में एक कॉमन विजन और अपनत्व बोध का विकास करना।

- जिम्मेदार नागरिक का विकास, भ्रूण हत्या, स्वच्छता मिशन और साम्प्रदायिक तनावों के समय शांति स्थापना, गोवंश संरक्षण जैसे विषयों में विभिन्न धर्मगरुओं के माध्यम से प्रेरणा संचार, संत शक्ति का रचनात्मक उपयोग।

- लोक न्यास, औकाफ, धार्मिक मेलों, तीर्थो एवं तीर्थयात्राओं आदि का उचित प्रबंधन, आनंद की अवधारणा का नियोजन, नीति निर्धारण और क्रियान्वयन।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.