स्वर्णिम काल से भाजपा अभी चार कदम दूर
अमित शाह ने कहा कि पूर्वोत्तर में मिली जीत ऐतिहासिक है, क्योंकि हमनें वहां 'शून्य से शिखर' तक का सफर तय किया है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। पूर्वोत्तर की जीत से उत्साहित भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने कहा 'अभी भाजपा का स्वर्णिम काल नहीं आया है। कर्नाटक, बंगाल, केरल और ओडिशा जीतना बाकी है।' शाह की यह टिप्पणी काफी अहम है। कर्नाटक में डेढ़ महीने बाद चुनाव है, वहां उसका मुकाबला कांग्रेस से होना है। ऐसे में भाजपा अध्यक्ष की यह भूख प्रदेश के कार्यकर्ताओं में नया जोश भर सकती है। जबकि ओडिशा में 2019 में चुनाव है। यहां हाल ही के स्थानीय चुनावों में पार्टी में अपनी काफी मजबूत उपस्थिति दर्ज कराई है।
त्रिपुरा, नगालैंड और मेघालय के आए चुनाव परिणामों के बाद भाजपा अध्यक्ष अमित शाह शनिवार को पार्टी मुख्यालय में पत्रकारों से बात कर रहे थे। शाह ने कहा कि इन तीन राज्यों के चुनाव परिणाम भाजपा के मनोबल को बढ़ाने वाले हैं। इस जीत के कई मायने है। तीनों राज्यों के परिणाम कांग्रेस के खिलाफ रहे। इससे यह भी सिद्ध हुआ है 'लेफ्ट भारत के किसी भी हिस्से के लिए राइट नहीं है।' अमित शाह ने कहा कि वर्ष 2014 में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि देश के पश्चिमी छोर जैसा विकास अभी पूर्वी छोर में नहीं हुआ है। इसके लिए उन्होंने 'एक्ट ईस्ट पॉलिसी' शुरु की। यह जीत सरकार की नीतियों पर लोगों का ठप्पा है। उन्होंने कहा कि त्रिपुरा में बहुमत के बावजूद कैबिनेट में सहयोगी दल को शामिल किया जाएगा।
त्रिपुरा की जीत अपने आप में ऐतिहासिक है। अब तक भाजपा को हिंदी बेल्ट की पार्टी माना जाता था, वो ठप्पा अब हट गया। लेफ्ट को आज के दौर में कोई पसंद नहीं करता है। पहले पश्चिम बंगाल अब त्रिपुरा में उसकी हार इसका सूबूत है। भाजपा देश के हर हिस्से में उपस्थिति दर्ज करा चुकी है। अब जहां लद्दाख से लेकर केरल तक और कच्छ से लेकर त्रिपुरा तक हमारा राज्य है। अमित शाह ने कहा कि कर्नाटक में हमारी तैयारी मुकम्मल है। त्रिपुरा की 20 की 20 आदिवासी सीटंे भाजपा ने जीती हैं। ये हमारे लिए बहुत शुभ संकेत है और पार्टी का हौसला बढ़ाने वाला है। एक सवाल के जबाव में उन्होंने कहा कि स्वाभाविक है इस बार वीवीपैट था, तो ईवीएम का मुद्दा नहीं हो सकता था। मेघालय में तोड़फोड़ का सवाल ही नहीं है। सहयोगी दलों का समर्थन करेंगे और सरकार बनाएंगे।
राहुल गांधी पर कटाक्ष
अमित शाह से जब राहुल गांधी की इटली यात्रा के बारे में पूछा गया तो चुटकी लेते हुए उन्होंने कहा कि उनको सुबह एक व्हाट्सऐप मैसेज आया, जिसमें लिखा था कि इटली में चुनाव हैं। दरअसल, राहुल गांधी ने ट्वीट करके कहा था कि वो अपनी नानी को सरप्राइज देने के लिए इटली जा रहे हैं।