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कोरोना संक्रमण के कारण इस राज्‍य में प्लस-3 ए​वं पीजी सेमिस्टर परीक्षा रद

प्लस-तीन में प्रथम एवं द्वितीय वर्ष के सभी छात्र-छात्रा एवं पीजी प्रथम वर्ष के सभी छात्र-छात्रा अगले वर्ष के लिए उत्तीर्ण होंगे

By Babita kashyapEdited By: Published: Wed, 27 May 2020 09:55 AM (IST)Updated: Wed, 27 May 2020 09:55 AM (IST)
कोरोना संक्रमण के कारण इस राज्‍य में प्लस-3 ए​वं पीजी सेमिस्टर परीक्षा रद
कोरोना संक्रमण के कारण इस राज्‍य में प्लस-3 ए​वं पीजी सेमिस्टर परीक्षा रद

भुवनेश्वर, जागरण संवाददाता। कोरोना के कारण देश भर में जारी लॉकडाउन के चलते परीक्षा एवं पढ़ाई दोनों में समस्या आने से ओडिशा सरकार ने प्लस-3 एवं पीजी श्रेणी के सेमिस्टार परीक्षा को रद्द करने का निर्णय लिया है। परिणाम स्वरूप प्लस-3 के प्रथम वर्ष एवं द्वितीय वर्ष तथा पीजी प्रथम वर्ष के छात्र-छात्राओं को इस साल क्लास प्रमोशन के लिए परीक्षा नहीं देनी होगी। इसी के साथ ही दोनों प्लस तीन एवं पीजी श्रेणी के पाठ्यक्रम को पहली बार के लिए 25 प्रतिशत सेल्फ गाइडेड स्टडी के द्वारा कवर करने का निर्णय लिया गया है। 

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 लोकसेवा भवन में उच्च शिक्षा मंत्री अरुण साहू ने मंगलवार को सभी विश्वविद्यालय के कुलपति के साथ वीडियो कान्फ्रेसिंग के जरिए कालेज में पढ़ाई एवं परीक्षा के प्रसंग पर चर्चा की है। लॉकडाउन के कारण प्रभावित होने वाले राज्य के सभी यूजी एवं पीजी सेमिस्टर तथा फाइनल परीक्षा किस प्रकार से की जाए, उस पर इस दौरान विस्तार से चर्चा हुई। 

 बैठक के बाद मीडिया को जानकारी देते हुए मंत्री साहू ने कहा कि सभी यूजी एवं पीजी सेमिस्टार परीक्षा के बारे में सभी सरकारी विश्वविद्यालय के कुलपति के साथ वीडियो कान्फ्रेंसिंग के जरिए चर्चा हुई है। बैठक में दो महत्वपूर्ण निर्णय लिये गये हैं। पहला निर्णय प्लस-तीन श्रेणी के द्वितीय एवं चतुर्थ सेमीस्टर परीक्षा को रद कर दिया गया है। उसी तरह से पीजी सेमिस्टर परीक्षा भी नहीं की जाएगी। प्लस-तीन श्रेणी में प्रथम एवं द्वितीय वर्ष के सभी छात्र-छात्रा एवं पीजी प्रथम वर्ष के सभी छात्र-छात्रा अगले वर्ष के लिए उत्तीर्ण होंगे। 

  विश्व विद्यालयों से विकल्प पद्धति में मूल्यांकन करने को कहा गया है। उसी तरह से पहली बार के लिए प्लस-तीन एवं पीजी पाठ्यक्रम को 25 प्रतिशत सेल्फ गाइडेड स्टडी के तहत कवर किया जाएगा। यह एक समय के हिसाब से एवं बेहतर कदम है। इस तरह की स्टडी व्यवस्था के लिए यूजीसी गाइडलाइन में सिफारिश की गई है। छात्र-छात्राएं सेल्फ स्टडी मटेरियल खुद पढ़ेंगे एवं ट्यूटोरियल क्लास के अध्यापक उनके मन में रहने वाले द्वंद को खत्म करेंगे। सेल्फ गाइडेड स्टडी द्वारा छात्र-छात्राओं के बीच क्रिटिकल थिंकिंग, विश्लेषण कौशल, आत्मनिर्भरता एवं जिज्ञासा बढ़ने की बात मंत्री साहू ने कही है।


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