भारतीय संविधान में अहिसा को मिलना चाहिए स्थान : नवीन पटनायक
भारतीय संविधान में अहिसा को स्थान मिलना चाहिए। महात्मा गांधी जी ने अहिसा का जो मार्ग दिखाया है उसे आज पूरी दुनिया के लोग अपनाने के साथ सम्मान दे रहे हैं।
जासं, भुवनेश्वर : भारतीय संविधान में अहिसा को स्थान मिलना चाहिए। महात्मा गांधी जी ने अहिसा का जो मार्ग दिखाया है, उसे आज पूरी दुनिया के लोग अपनाने के साथ सम्मान दे रहे हैं। अहिसा ही भारतीयता का परिचय है। राजधानी भुवनेश्वर के खंडगिरी में गांधी शांति केंद्र के उदघाटन समारोह में मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने शनिवार को ये बातें कही।
गांधी जी की अहिसा नीति एवं आदर्श के संदर्भ में युवा वर्ग को जानकारी देने के उद्देश्य को लेकर आदित्य बिरला गु्रप एवं राज्य सरकार के संयुक्त प्रयास से निर्मित एवं पांच एकड़ जमीन में फैले इस गांधी शांति केंद्र में बापू से जुड़ी अनेकों स्मृतियां प्रदर्शित की गई है।
मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने इस अवसर पर आदित्य बिरला ग्रुप को इस महत्वपूर्ण कार्य के लिए धन्यवाद देते हुए कहा कि इस संग्राहलय में गांधी जी का स्मृतिचिन्ह हैं। ंिहंदी, अंग्रेजी तथा ओड़िया भाषा में महात्मा गांधी जी की कहानी का वर्णन किया गया है। 2013 में आदित्य बिरला फाउंडेशन के साथ इसके लिए सरकार का करार हुआ था। गांधी जी की 150वीं जयंती में सरकार का यह अनूठा प्रयास है। इस केंद्र के जरिए लोगों को गांधी जी की जीवनी के संदर्भ में अधिक जानकारी मिल पाएगी और इससे लोगों में अहिसा के प्रति जागरूकता भी बढ़ेगी। यह संग्रहालय बापू के आदर्श को लोगों तक पहुंचाने काम करेगा। गांधी जी के आदर्श एवं उनके विचारों के प्रति लोगों को आकृष्ट करने का काम करेगा।
आदित्य बिरला सेंटर फॉर कम्यूनिटी इनीसिएटिव एंड रूरल डेवलेपमेंट की अध्यक्ष राजश्री बिरला ने मुख्यमंत्री का स्वागत करते हुए कहा कि भारत के विभिन्न क्षेत्र में ग्रुप की तरफ से व्यवहारिक गैलरी बनाएगी जहां पर गांधी जी के भाव एवं विचारों को समझा जा सकेगा और यही गांधी जी के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी। इसके लिए ओडिशा उपयुक्त स्थान है। कहा कि मुख्यमंत्री नवीन पटनायक गांधी जी की नीतियों के सच्चे अनुगामी हैं। ओडिशा में गांधी जी आठ बार आए थे। महात्मा गांधी जी की 150वीं जयंती के मौके पर आदित्य बिरला ग्रुप महात्मा गांधी जी को सच्ची श्रद्धांजलि देने का प्रयास किया है।