तालिबान की नई चाल, बच्चाबाजी के जरिए पुलिसवालों पर हमला
अफगानी पुलिसकर्मियों को निशाना बनाने के लिए तालिबान आतंकी अब बच्चाबाजी का सहारा ले रहे हैं।
काबुल। तालिबान आतंकी अफगानी पुलिसकर्मियों को मारने के लिए यौन गुलामों की मदद ले रहे हैं। उरुजगान प्रांत में हाल के दिनों में पुलिस चेकप्वाइंट्स पर हमले के लिए तालिबान आतंकी बच्चाबाजी का इस्तेमाल करते हैं। बच्चाबाजी अफगानिस्तान के कई इलाकों में मशहूर है। उरुजगान में बिना दाढ़ी मूंछ वाले बच्चों की मदद से अफगानी सैनिकों को आकर्षित किया जाता है। ये लड़के अफगानी सैनिकों की हत्या कर देते हैं। जनवरी से अप्रैल के बीच में ये सैकडो़ं पुलिस कर्मियों और न्यायिक अधिकारियों को निशाना बना चुके हैं।
एफपी के मुताबिक उरुजगान के पूर्व पुलिस मुखिया गुलाम साखी रोग लेवानी का कहना है कि तालिबान खूबसूरत लड़कों को कैंप में भेजते हैं। ये लड़के मौके का फायदा उठाकर पुलिस वालों की हत्या कर देते हैं। उनका कहना है कि अफगान पुलिस फोर्स में बच्चाबाजी सबसे बड़ी कमजोरी है। फिदायीन हमलों से निपटना ज्यादा आसान होता है। जबकि बच्चाबाजी से निपटना बेहद मुश्किल है।
बढ़ते तालिबानी हमलों से निपटने के लिए सक्रिय होंगे अमेरिकी सैनिक
लेवानी को खराब कानून व्यवस्था की वजह से उरुजगान से हटा दिया गया था। उरुजगान राजधानी काबुल से दूर है। तालिबान आतंकियों के कब्जे से आजाद कराने के लिए अमेरिका की अगुवाई वाली गठबंधन सेनाओं को खासी मशक्कत करनी पड़ी थी। पिछले साल डेहरावुड जिले में एक पुलिस पोस्ट पर हमले में जिंदा मतियुल्लाह ने बताया कि आतंकी हनी ट्रैप में बच्चाबाजी का इस्तेमाल करते हैं। उसने बताया कि चेक पोस्ट कमांडर के यौन गुलाम जबीउल्ला ने खुद हमले को अंजाम दिया था। उसने एक रात सात पुलिसवालों को गोली मार दी जिसमें चेक पोस्ट कमांडर भी शामिल था।