भारत की विकास दर होगी 5.5 प्रतिशत: विश्व बैंक
विश्व बैंक के अनुसार 2014-15 वित्तवर्ष में भारत की विकास दर 5.5 हो सकती है। इसके साथ ही 2015-16 और 2016-17 में यह क्रमश: 6.3 प्रतिशत और 6.6 प्रतिशत रहने की उम्मीद है।
वाशिंगटन। विश्व बैंक ने भारत की विकास दर के बारे में अनुमान लगाया है। विश्व बैंक के अनुसार 2014-15 वित्तवर्ष में भारत की विकास दर 5.5 हो सकती है। इसके साथ ही 2015-16 और 2016-17 में यह क्रमश: 6.3 प्रतिशत और 6.6 प्रतिशत रहने की उम्मीद है।
बुधवार को जारी एक रिपोर्ट में बैंक की ओर से कहा गया कि सन 2013 में उत्पादन की धीमी प्रक्रिया और कम निवेश के कारण दक्षिण-एशिया में सकल घरेलू उत्पाद 4.7 प्रतिशत से कम रहा। इसके साथ ही वैश्विक स्तर पर भी अर्थव्यवस्था के नीचे की ओर जाने के संकेत बैंक की ओर से दिए गए हैं।
हालांकि उर्जा और मूलभूत सुविधाओं के विकास के क्षेत्र में श्रमिक उत्पादकता पर भी असर पड़ेगा। चीन और रूस से बढ़ी उम्मीदों ने विश्व अर्थव्यवस्था को सुधारने में मदद की है और भारत के साथ इंडोनेशिया के स्टॉक बाजार भी अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं। लेकिन, विश्व बैंक के वरिष्ठ उपाध्यक्ष और मुख्य अर्थशास्त्री कौशिक बसू का कहना है कि इन सब उम्मीदों के बावजूद हम अभी भी खतरे के घेरे में हैं। 2008 कीर मंदी के लिए उपजे कारणों का हवाला देते हुए उन्होंने संकेत दिया कि आने वाले दिनों ऐसी मंदी आ सकती है। चीन में विकास दर 7.6 होने के आसार हैं लेकिन यह उनकी पुनर्संतुलन की नीति पर ही यह तय करेगा।
साथ ही अमेरिका में खराब मौसम, यूक्रेन की आपदा और चीन के पुनर्संतुलन का असर भी विश्व अर्थव्यवस्था पर पड़ सकता है। यही नहीं बड़े घाटे वाले देशों को वित्तिय नीतियों को कड़ा करना होगा। इन देशों में घाना, भारत, केन्या, मलेशिया और साउथ अफ्रीका शामिल हैं।