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Varanasi: वाराणसी से नहीं कर पाया नामांकन तो खटखटाया SC का दरवाजा, शख्स की याचिका पर क्या बोला सुप्रीम कोर्ट?

तमिलनाडु के त्रिची के मूल निवासी और नेशनल साउथ इंडियन रिवर इंटरलिंकिंग एग्रीकल्चरिस्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष पी अय्याकन्नू सुप्रीम कोर्ट से नामांकन भरने को लेकर तारीख बढ़ाने की मांग की।अय्याकन्नू उत्‍तर प्रदेश के वाराणसी से चुनाव लड़ना चाहता हैं।जिस दिन नामांकन भरने की आखिरी तारीख थी उस दिन ट्रेन की देरी के कारण वह नामांकन नहीं भर पाए।जिसके बाद उन्होंने सुप्रीम कोर्ट से गुहार लगाई की तारीख को बढ़ाया जाए।

By Agency Edited By: Babli Kumari Wed, 15 May 2024 07:19 PM (IST)
Varanasi: वाराणसी से नहीं कर पाया नामांकन तो खटखटाया SC का दरवाजा,  शख्स की याचिका पर क्या बोला सुप्रीम कोर्ट?
SC ने नामांकन भरने के तारीख बढ़ाने की याचिका को किया खारिच (फाइल फोटो)

पीटीआई, नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को तमिलनाडु के एक किसान नेता की वाराणसी लोकसभा सीट से चुनाव लड़ने के लिए नामांकन पत्र दाखिल करने की समय सीमा बढ़ाने की याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया है। यह वही सीट है जहां से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मैदान में हैं। याचिका की निंदा करते हुए इसे 'प्रचार हित याचिका' बताया गया।

न्यायमूर्ति विक्रम नाथ और सतीश चंद्र शर्मा की पीठ ने कहा, "आप वापस लेना चाहते हैं, हम आपको वापस लेने की अनुमति दे सकते हैं। यदि आप चाहते हैं कि हम इसे खारिज करें, तो हम इसे खारिज कर सकते हैं। ये सभी प्रचार हित याचिकाएं हैं।"

वाराणसी जाने वाली ट्रेन से उतारे जाने के बाद नहीं भर पाए नामांकन

तमिलनाडु के त्रिची के मूल निवासी और नेशनल साउथ इंडियन रिवर इंटरलिंकिंग एग्रीकल्चरिस्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष पी अय्याकन्नू की ओर से पेश वकील एस महेंद्रन ने दावा किया कि अय्याकन्नू को 10 मई को रेलवे सुरक्षा कर्मियों ने वाराणसी जाने वाली ट्रेन से उतार दिया था। वह सीट से नामांकन दाखिल करने जा रहे थे।

याचिका का पूरा मकसद पब्‍ल‍िस‍िटी स्‍टंट

जज ने यहां तक कहा कि याचिका का पूरा मकसद प्रचार था और इसका खारिज होना भी एक खबर बनेगी. क‍िसान नेता पी अय्याकन्नू ने वाराणसी में अपना नामांकन भरने के लिए समय बढ़ाने की मांग की थी। अय्याकन्नू के वकील महेंद्र की दलील थी कि नामांकन दाखिल करने की आखिरी तारीख 14 मई थी और प्रधानमंत्री मोदी ने भी 14 को ही अपना नामांकन दाखिल किया था।

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