देश-विदेश के साहित्यकारों को मिला विश्व हिंदी सम्मान
विश्व हिंदी सम्मेलन के समापन समारोह में देश-विदेश के 34 हिंदी साहित्यकारों को विश्व हिंदी सम्मान प्रदान किया गया। विदेशों में रह रहे 17 साहित्यकारों को उनकी हिंदी सेवा के लिए तो देश के विभिन्न क्षेत्रों में रह रहे 17 साहित्य सेवियों को अपने क्षेत्र में हिंदी के विकास में
नई दुनिया, भोपाल। विश्व हिंदी सम्मेलन के समापन समारोह में देश-विदेश के 34 हिंदी साहित्यकारों को विश्व हिंदी सम्मान प्रदान किया गया। विदेशों में रह रहे 17 साहित्यकारों को उनकी हिंदी सेवा के लिए तो देश के विभिन्न क्षेत्रों में रह रहे 17 साहित्य सेवियों को अपने क्षेत्र में हिंदी के विकास में योगदान देने के लिए सम्मानित किया गया। इनमें वे साहित्यकार भी हैं जिन्होंने दक्षिण भारत में हिंदी के प्रचार-प्रसार में स्वयं को समर्पित किया है।
सम्मानित होने वाले विदेशी साहित्यकार
अनूप भार्गव (अमेरिका), स्नेह ठाकुर (कनाडा), प्रो. हाइंस वारनाल वैसलर (स्वीडन), डॉ. अकीरा ताकाहाशी (जापान), उषादेवी शुक्ला (दक्षिण अफ्रीका), कमला रामलखन (टोबैगो), डॉ. दैमन्तास वलंचूनास (लिथूवानिया), नीलम कुमारी (फिजी), डॉ. सार्ज वर्बेक (बेल्जियम), डॉ. अजामिल माताबदल (मॉरिशस), गंगाधर सिंह गुलशन सुखलाल (मॉरिशस), डॉ. इंदिरा गाजियेवा (रू स), इंदिरा कुमारी रामनायक (श्रीलंका), मो. इस्माइल (सऊदी अरब), सुरजन परोही (सुरीनाम), कैलाश नाथ (यूके) और डॉ. उषाराजे सक्सेना (यूके)।
सम्मानित होने वाले भारतीय साहित्यकार
डॉ. प्रभाकर क्षोत्रिय, डॉ. प्रभात कुमार भट्टाचार्य, डॉ. एम. चंद्रशेखरन नायर, डॉ. मधु धवन, प्रो. माधुरी जगदीश छेड़ा, प्रो. अनंतराम त्रिपाठी, कुमारी अहेमकामै, डॉ. परमानंद पांचाल, डॉ. नागेश्वर सुंदरम, प्रो. हरिराम मीणा, डॉ. व्यासमणि त्रिपाठी, डॉ. सुरेश कुमार गौतम, आदित्य चौधरी, डॉ. केके अग्रवाल, अन्नू कपूर, अरविंद कुमार, माता प्रसाद और आनंद मिश्रा अभय।