लॉकडाउन की वजह से बेंगलुरु में उगादी त्योहार रद, सुनसान बाजार व सड़कें
उगादी हिंदू चंद्र वर्ष का पहला दिन है जो आमतौर पर मार्च या अप्रैल में आता है जो 1 जनवरी से शुरू होने वाले ग्रेगोरियन कैलेंडर के विपरीत है।
बैंगलोर, आइएएनएस। कोरोना वायरस की वजह से लागू लॉकडाउन ने भारत के टेक शहर में उगादी त्योहार की सामान्य धूमधाम और उल्लास को बाधित कर दिया, बुधवार को सड़कें और बाजार सुनसान दिखे। सरजापुरा रोड के बेंगलुरू उपनगर गुंजूर के ऑटो रिक्शा चालक मंजूनाथ ने कहा, 'इस साल हमारे लिए कोई उगाडी नहीं है। कई पूजा (अनुष्ठान) वस्तुएं उपलब्ध नहीं हैं, सब कुछ बंद है।' उगादी हिंदू चंद्र वर्ष का पहला दिन है जो आमतौर पर मार्च या अप्रैल में आता है, जो 1 जनवरी से शुरू होने वाले ग्रेगोरियन कैलेंडर के विपरीत है।
हालांकि, बेंगलुरु के बाहरी इलाकों में कुछ मुख्य द्वार पर उगादी के शुभ स्वरूप का संकेत देने के लिए फूलों और पत्तियों से सजाया गया हैं। यह त्योहार कर्नाटक और आंध्र प्रदेश-तेलंगाना के दो तेलुगु राज्यों में धूमधाम से मनाया जाता है। बता दें कि सड़कों पर कोई यातायात नहीं है, ज्यादातर लोग भोजन, सब्जियां और फल जैसे आवश्यक सामान खरीदने ही बाहर निकल रहे हैं। आवश्यक वस्तुओं को बेचने वाली दुकानों को छोड़कर, अन्य सभी स्टोर बंद हैं, जिनमें बेकरी भी शामिल हैं।
इससे पहले कर्नाटक के मुख्यमंत्री बी.एस. येदियुरप्पा ने कन्नड़ में ट्विटर पर सभी राज्य के लोगों को उगादी की शुभकामनाएं दीं, सभी से घर पर रहने का अनुरोध किया। येदियुरप्पा ने ट्वीट किया, 'सभी को नव वर्ष की शुभकामनाएं। संक्रमण फैलने से बचाने के लिए घर पर उगादी मनाएं।'