अत्यधिक कुशल-शिक्षित थे अहमदाबाद बम धमाकों के अपराधी, जानते थे पुलिस को कैसे करना है गुमराह
अहमदाबाद में 26 जुलाई 2008 को 70 मिनट के भीतर 21 बम धमाके हुए थे। इसमें 56 लोगों की मौैत हुई थी और 200 से ज्यादा लोग घायल हुए थे। इस मामले में विशेष अदालत ने शुक्रवार को फैसला सुनाया था।
अहमदाबाद, प्रेट्र। Gujarat Blast: तीन दशक पहले हुए बम धमाकों में 38 अपराधियों को मृत्युदंड और 11 को उम्र कैद की सजा सुनाने वाली विशेष अदालत ने अपने फैसले में कहा है कि इसमें शामिल अपराधी अत्यधिक कुशल और शिक्षित थे। इनमें कुछ डाक्टर, प्रोफेसर और कंप्यूटर विशेषज्ञ शामिल थे जो जांच की दिशा मोड़ना जानते थे। इसके चलते जांच एजेंसियों के लिए उनके बारे में जानकारी जुटाना बहुत मुश्किल काम था।
विशेष अदालत की वेबसाइट पर शनिवार को अपलोड किए गए फैसले के मुताबिक विशेष जज एआर पटेल ने कहा है कि मुश्किलों के बावजूद जांच अधिकारियों ने अपराधियों के खिलाफ पर्याप्त सुबूत जुटाए। अदालत ने कहा कि सुबूतों के साथ ही परिस्थितिजन हालात फैसले का आधार बने हैं। बता दें कि अहमदाबाद में 26 जुलाई, 2008 को 70 मिनट के भीतर 21 बम धमाके हुए थे। इसमें 56 लोगों की मौैत हुई थी और 200 से ज्यादा लोग घायल हुए थे। इस मामले में विशेष अदालत ने शुक्रवार को फैसला सुनाया था।
2008 में अहमदाबाद के 21 स्थानों पर भीषण बम धमाके हुए थे। आतंकियों ने अहमदाबाद के साथ ही सूरत को भी दहलाने की साजिश रची थी, लेकिन वहां रखे गए बम किसी कारण फट नहीं पाए थे। इन धमाकों में 56 लोगों की मौत हो गई थी और 200 से अधिक लोग जख्मी हो गए थे। इस आतंकी हमले के पीछे सिमी और इंडियन मुजाहिदीन का हाथ था। अहमदाबाद बम धमाकों के लिए जिन आतंकियों को सजा सुनाई गई, उनमें मध्य प्रदेश-महाराष्ट्र से लेकर केरल-कर्नाटक तक के आतंकी शामिल हैं। इनमें से कई आजमगढ़, उत्तर प्रदेश के हैं।