अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर सख्ती
सूबे के अल्ट्रासाउंड केद्रो की गतिविधियो पर स्वास्थ्य विभाग अब निगाह रखेगा। हर जिले के अल्ट्रासाउंड केद्र की मासिक रिपोर्ट तैयार की जाएगी। गड़बड़ी मिलने पर अल्ट्रासाउंड केद्र सील होंगे, जबकि केद्र संचालक को जेल की हवा खानी पड़ेगी। इस बारे मे सभी सीएमओ को निर्देश जारी किए जा रहे है।
जागरण ब्यूरो, लखनऊ। सूबे के अल्ट्रासाउंड केंद्रों की गतिविधियों पर स्वास्थ्य विभाग अब निगाह रखेगा। हर जिले के अल्ट्रासाउंड केंद्र की मासिक रिपोर्ट तैयार की जाएगी। गड़बड़ी मिलने पर अल्ट्रासाउंड केंद्र सील होंगे, जबकि केंद्र संचालक को जेल की हवा खानी पड़ेगी। इस बारे में सभी सीएमओ को निर्देश जारी किए जा रहे हैं।
स्वास्थ्य विभाग के पास इसकी जानकारी नहीं हैं कि किस जिले में कितने अल्ट्रासाउंड केंद्र है, हर माह कितने अल्ट्रासाउंड केंद्र रजिस्टर्ड होते हैं, अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर क्या हो रहा है या उनके खिलाफ पहले कोई कार्रवाई हुई या नहीं। अल्ट्रासाउंड केंद्रों की मनमानी चल रही है और उस पर अंकुश लगाने को कोई सख्त कदम नहीं उठाया गया है। विभाग की रिपोर्ट में भी इसका खुलासा हुआ है।
अब स्वास्थ्य विभाग ने अल्ट्रासाउंड केंद्रों की सभी गतिविधियों का रिकार्ड तैयार का निर्णय किया है। जिला स्तर पर सक्रिय स्वास्थ्य विभाग की टीम अल्ट्रासाउंड केंद्रों के रजिस्ट्रेशन के साथ ही हर माह आने वाले मरीजों की संख्या व मरीज के टेस्ट का पूरा ब्यौरा एकत्र करेगी। टीम गुपचुप तरीके से अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर छापा भी मारेगी। टीम लिंग परीक्षण के मामलों पर पूरी सर्तकता बरतेगी। इसकी रिपोर्ट हर माह स्वास्थ्य महानिदेशालय को भेजेगी।
एनआरएचएम के मिशन डायरेक्टर मुकेश कुमार मेश्राम के मुताबिक गड़बड़ी करने वाले अल्ट्रासाउंड केंद्रों को सील कराने के साथ केंद्र संचालक के खिलाफ केस दर्ज कराकर उन्हें जेल भेजा जाएगा।
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