नॉर्थ ईस्ट के यात्रियों को लेकर कामाख्या पहुंची स्पेशल ट्रेन, अपनों को देखने के लिए लोगों की लगी भीड़
गुरुवार को स्पेशल ट्रेन नॉर्थ ईस्ट के यात्रियों को लेकर कामाख्या रेलवे स्टेशन पर पहुंच गई है। बिहार के बक्सर में रघुनाथपुर स्टेशन के पास नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस ट्रेन के 21 डिब्बे पटरी से उतर जाने से चार लोगों की मौत हो गई और कई घायल हो गए। इस हादसे के बाद कई यात्री फंस गए थे इसके बाद रेलवे ने उनको सही सलामत पहुंचाया।
एएनआई, असम। दिल्ली से कामाख्या जाने वाली नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस के यात्रियों ने सपने में भी नहीं सोचा होगा कि वह किसी हादसे के शिकार हो जाएंगे। बुधवार को बिहार के बक्सर में रघुनाथपुर स्टेशन के पास नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस ट्रेन के 21 डिब्बे पटरी से उतर जाने से चार लोगों की मौत हो गई और कई घायल हो गए। इस हादसे के बाद कई यात्री फंस गए और उन यात्रियों को उनके गंतव्य तक पहुंचाने के लिए स्पेशल ट्रेन की व्यवस्था की गई। गुरुवार को स्पेशल ट्रेन नॉर्थ ईस्ट के यात्रियों को लेकर कामाख्या रेलवे स्टेशन पर पहुंच गई है।
जैसे ही गाड़ी कामाख्या रेलवे स्टेशन पर पहुंची तो वहां अपनों को देखने के लिए लोगों की भीड़ जुट गई। सभी अपने परिवाजन को सही सलामत देखना चाहते थे। हादसे में ट्रेन बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई । घायल यात्रियों को इलाज के लिए अस्पताल भेजा गया।
दो लूप लाइन मिलकर सभी चार ट्रैक क्षतिग्रस्त हो गए
समाचार एजेंसी पीटीआई ने रेलवे सूत्रों के हवाले से बताया है कि प्रारंभिक जांच रिपोर्ट में दिल्ली-कामाख्या नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस के पटरी से उतरने का संभावित कारण पटरियों में खराबी है। इस हादसे में ट्रेन की 21 बोगियां बेपटरी हो गई और दो मेन, दो लूप लाइन मिलकर सभी चार ट्रैक क्षतिग्रस्त हो गए।
रिपोर्ट में ड्राइवर सहित छह रेलवे अधिकारियों के हस्ताक्षर
सामने आई रिपोर्ट में ट्रेन के ड्राइवर सहित छह रेलवे अधिकारियों के हस्ताक्षर हैं। इसमें कहा कहा गया है कि ऐसा लगता है कि पटरी से उतरने की वजह पटरियों में खराबी के कारण हुई। वहीं, इस ट्रेन दुर्घटना में रेलवे को 52 करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान होने का अनुमान लगाया गया है।
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हादसा बुधवार की रात को हुआ, 100 से ऊपर थी ट्रेन की स्पीड
यह हादसा बुधवार की रात को हुआ। इसमें लोको पायलट आंशिक रूप से घायल हो गया और उसके सहायक को गंभीर चोटें आई हैं। रेलवे द्वारा जारी की गई रिपोर्ट में लोको पायलट का एक बयान भी शामिल है किया गया है। बयान के मुताबिक, ट्रेन 128 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से रघुनाथपुर स्टेशन से गुजरी थी, लेकिन स्टेशन को पार करने के तुरंत बाद उसे पीछे से कंपन के साथ में एक तेज झटका लगा।