Move to Jagran APP

पहाड़ों में बर्फबारी बनी आफत, हजारों वाहनों में फंसे पर्यटक; चलाया गया रेस्क्यू ऑपरेशन

हिमाचल प्रदेश में बर्फबारी का दौर थमने के बाद भी लोगों की परेशानियां कम नहीं हुई हैं। प्रदेश में रविवार को करीब 265 सड़कें यातायात के लिए बंद रहीं।

By Dhyanendra SinghEdited By: Published: Sun, 02 Feb 2020 11:10 PM (IST)Updated: Sun, 02 Feb 2020 11:22 PM (IST)
पहाड़ों में बर्फबारी बनी आफत, हजारों वाहनों में फंसे पर्यटक; चलाया गया रेस्क्यू ऑपरेशन
पहाड़ों में बर्फबारी बनी आफत, हजारों वाहनों में फंसे पर्यटक; चलाया गया रेस्क्यू ऑपरेशन

नई दिल्ली, जेएनएन। उत्तर भारत में बर्फबारी का सिलसिला रुकने का नाम ही नहीं ले रहा है। जहां जनवरी में शिमला में रिकॉर्ड ठंड दर्ज हुई। वहीं, बर्फबारी के चलते बंद सड़कों पर पर्यटकों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। जम्मू-कश्मीर में भी खराब मौसम और कोहरे के चलते हवाई सेवा प्रभावित रही। तीसरे पहाड़ी प्रदेश उत्तराखंड में जनवरी में 15 साल बाद रिकॉर्ड बारिश दर्ज की गई है।

loksabha election banner

एक हजार वाहनों में फंसे पर्यटक

हिमाचल में बर्फबारी का दौर थमने के बाद भी लोगों की परेशानियां कम नहीं हुई हैं। प्रदेश में रविवार को करीब 265 सड़कें यातायात के लिए बंद रहीं। शनिवार को बर्फबारी के बाद सड़कों पर कोहरा जमने के कारण रविवार को ऊपरी शिमला व किन्नौर के कई क्षेत्रों में यातायात प्रभावित हुआ। बर्फबारी के कारण कुफरी, ठियोग और मशोबरा के बीच करीब एक हजार वाहनों में फंसे पर्यटकों समेत स्थानीय लोगों को विशेष रेस्क्यू अभियान चलाकर निकाला गया।

जनवरी में उत्तराखंड में 15 साल बाद रिकॉर्ड बारिश

सर्दी के इस सीजन में मौसम के तेवर कुछ ज्यादा ही तल्ख रहे। उत्तराखंड में इस बार रिकॉर्ड बारिश और बर्फबारी हुई है। करीब 15 साल बाद यह पहला मौका है, जब प्रदेश में 200 फीसद से अधिक बारिश हुई है। इसमें भी टिहरी जनपद में सर्वाधिक 190.3 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई। दून में सामान्य से 255 फीसद अधिक 123.9 मिमी बारिश दर्ज की गई। यही नहीं, प्रदेश के ऊंचाई वाले इलाकों में इस बार भारी बर्फबारी ने लोगों की दुश्वारियां बढ़ाई। बारिश से तो जहां खेती-बागवानी को लाभ होने की उम्मीद है, वहीं बर्फबारी ने कुछ क्षेत्रों को छोड़ अन्य में दिक्कतें ही पैदा की हैं। नैनीताल में चायना पीक के साथ ही नयना पीक पर भी भूस्खलन हो रहा है। रविवार को नयना पीक पहाड़ी से पत्थर गिरने शुरू हुए तो तलहटी में रह रहे लोग दहशत में आ गए।

घने कोहरे से हवाई सेवा प्रभावित

जम्मू-कश्मीर में मौसम ने दिन में कई रंग दिखाए। जम्मू में रविवार की सुबह छाये घने कोहरे ने फिर शहर की रफ्तार थाम दी। कोहरा इतना ज्यादा था कि दस मीटर तक साफ नहीं दिखाई दे रहा था। घने कोहरे के कारण सुबह नौ बजे से दोपहर 12:30 बजे तक की सभी उड़ानें रद कर दी गई। जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर तेज रफ्तार से दौड़ने वाली गाडि़यां रेंगती नजर आई। करीब दस बजे तक वाहन चालक अपनी गाडि़यों की लाइटें जलाकर चलने को विवश दिखे। हालांकि दोपहर को फिर धूप खिली और मौसम साफ हो गया, जिससे लोगों को राहत मिली।

अंजनी महादेव में 25 फीट ऊंचा हुआ शिवलिंग

मनाली से 18 किलोमीटर दूर सोलंगनाला के अंजनी महादेव में झरने से गिर रहे पानी से बन रहा शिवलिंग 25 फीट ऊंचा हो गया है। 11000 फीट ऊंचाई पर बना यह शिवलिंग मनाली पहुंच रहे सैलानियों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है।

नवंबर में पारा माइनस तक पहुंचते ही शिवलिंग का आकर बनना शुरू हो गया था और अब यह 25 फीट ऊंचा हो गया है। ऐसे में सैलानी पैदल, घोड़ों, स्नो स्कूटर व माउंटेन बाइक में अंजनी महादेव पहुंच रहे है। पलचान पंचायत के प्रधान सुंदर ठाकुर ने बताया कि शिवरात्रि के दौरान बर्फ के शिवलिंग की ऊंचाई 35 फीट तक पहुंच जाएगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.