जम्मू कश्मीर 4G बहाली का मामला: कोर्ट का केंद्र को नोटिस, एक हफ्ते में दायर करे हलफनामा
सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को जम्मू कश्मीर में 4G इंटरनेट सेवा चालू करने के मामले पर सुनवाई की गई।
नई दिल्ली, जेएनएन। सुप्रीम कोर्ट में गुरुवार को जम्मू कश्मीर में 4G इंटरनेट सेवा चालू करने के मामले पर सुनवाई की गई। केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि आदेश के अनुसार, प्रतिबंध की समीक्षा के लिए विशेष कमेटी गठित की जा चुकी है। कोर्ट ने सरकार से इस बाबत एक हफ्ते में हलफनामा दायर करने का आदेश दिया है। याचिकाकर्ता ने सरकार पर आदेश के उल्लंघन का आरोप लगाया है।
बता दें कि कोविड-19 के कारण उपजे हालात के मद्देनजर मई में फाउंडेशन फॉर मीडिया प्रोफेशनल्स, और जम्मू कश्मीर प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन ने कोर्ट से 4G इंटरनेट सेवा बहाल करने को लेकर अपील की थी। उनका कहना है कि कश्मीर में केवल 2G इंटरनेट सेवा बिजनेस और बच्चों की ऑनलाइन शिक्षा में समस्याएं आ रही हैं। लंबे समय से यहां सुरक्षा और अन्य कारणों से इंटरनेट सेवाएं बाधित हैं या फिर कम स्पीड वाली 2G सेवा मुहैया कराई गई।
कोविड-19 संक्रमण के कारण लॉकडाउन में जम्मू-कश्मीर में 4 जी इंटरनेट सेवा बहाल करने की गुहार पर सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से कहा था कि वह होम मिनिस्ट्री के सेक्रटरी की अगुआई में एक स्पेशल कमिटी का गठन करे जो इस इस मामले में उठाए गए सवाल को देखे। सुप्रीम कोर्ट ने टिप्पणी की थी कि राष्ट्रीय सुरक्षा और उस इलाके में लोगों के मानवाधिकार के बीच संतुलन कायम करने की जरूरत है।
जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद-370 हटाए जाने के बाद से हाई स्पीड 4 जी सेवा सस्पेंड है। अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि अदालत ने 11 मई को जो आदेश पारित किया था उस पर अथॉरिटी ने अमल किया है ऐसे में कंटेप्ट का मामला नहीं बनता है। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस एनवी रमन्ना की अगुआई वाली बेंच ने केंद्र और जम्मू-कश्मीर प्रशासन से कहा है कि वह हलफनामा दायर कर बताएं कि कमिटी का गठन कर लिया गया है और कमिटी ने क्या फैसला किया है, उस बारे में भी बताया जाए। सुप्रीम कोर्ट ने मामले में सरकार को नोटिस जारी नहीं किया।