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ठाणे: फर्जी कॉल सेंटर का मास्टरमाइंड 'शैगी' मुंबई हवाई अड्डे से गिरफ्तार

गिरफ्तार निदेशकों ने पूछताछ के दौरान पुलिस को इस रैकेट के सरगना के तौर पर 24 वर्षीय सागर का नाम लिया था।

By Manish NegiEdited By: Published: Sat, 08 Apr 2017 07:42 PM (IST)Updated: Sun, 09 Apr 2017 09:08 AM (IST)
ठाणे: फर्जी कॉल सेंटर का मास्टरमाइंड 'शैगी' मुंबई हवाई अड्डे से गिरफ्तार
ठाणे: फर्जी कॉल सेंटर का मास्टरमाइंड 'शैगी' मुंबई हवाई अड्डे से गिरफ्तार

ठाणे, प्रेट्र/रायटर। दो हजार करो़ड़ रूपए के कॉल सेंटर ठगी के मास्टरमाइंड सागर ठक्कर उर्फ शैगी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस के अनुसार, शुक्रवार रात दुबई से सागर जब मुंबई हवाई अड्डा पहुंचा, तो उसे गिरफ्तार किया गया। पिछले साल यह मामला उजागर होने के बाद से ही वह फरार था।

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सागर को शनिवार को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उसे 13 अप्रैल तक के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया गया। पिछले साल चार अक्टूबर की रात पुलिस ने ठाणे जिले की मीरा रोड स्थित कॉल सेंटरों पर छापा मारा था। उसी समय यह मामला उजागर हुआ था। इसके बाद पुलिस ने अहमदाबाद में भी इस रैकेट के सिलसिले में छापेमारी की थी। उस समय 70 से अधिक लोगों को इस मामले में गिरफ्तार किया गया था। इनमें से ज्यादातर निदेशक स्तर के अधिकारी थे। 700 से अधिक कर्मचारियों को हिरासत में भी लिया गया था। गिरफ्तार निदेशकों ने पूछताछ के दौरान पुलिस को इस रैकेट के सरगना के तौर पर 24 वषर्षीय सागर का नाम लिया था।

इसके बाद पुलिस ने उसे पक़़डने के लिए सात अक्टूबर को लुक आउट सर्कुलर जारी किया था और वह रेड कॉर्नर नोटिस जारी करने की तैयारी में थी। लेकिन, उससे दो दिन पहले ही वह देश से बाहर भाग गया था। सागर संरक्षण देने वाले मुंबई के कारोबारी जगदीश कनानी को पुलिस पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है।

यह है मामला

सागर और उसके साथी फर्जी कॉल सेंटर के जरिए भारतीय टेली-कॉलरों की मदद से अमेरिकी लोगों से पैसे ठगते थे। ठाणे के आधा दर्जन कॉल सेंटरों से वषर्ष 2013 से ही यह रैकेट चल रहा था। इस रैकेट से जु़ड़े लोग ब्रिटेन, ऑस्ट्रेलिया और कनाडा भी फोन करते थे और खुद को वहां के रेवेन्यू सर्विसेस का अधिकारी बताकर लोगों से वसूली करते थे।

60 से अधिक लोग शामिल

अमेरिकी न्याय विभाग ने इस रैकेट में अमेरिका और भारत के 60 से अधिक लोगों के शामिल होने का आरोप लगाया था। अमेरिका के आंतरिक मामलों के सुरक्षा सचिव जे जॉनसन ने कहा था कि इस रैकेट के जरिए अमेरिकी लोगों को तीस करो़ड़ डॉलर (लगभग दो हजार करो़ड़ रूपए) का चूना लगाया गया। अमेरिकियों को भारतीय समय के अनुसार रात में कॉल किया जाता था, क्योंकि उस समय वहां दिन होता है। कोहली की ढाई करो़ड़ में ऑडी कार खरीदी और प्रेमिका को गिफ्ट की सागर ठक्कर ठगी के पैसों से ऐश कर रहा था। वह पांच सितारा होटलों में रुकता और महंगी कारों में घूमता था।

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बताया जाता है कि उसने ठगी के पैसे से करीब 2.5 करो़ड़ रूपए के कीमत की ऑडी कार अपनी गर्लफ्रेंड को गिफ्ट की थी। सूत्रों के मुताबिक सागर ने क्रिकेटर विराट कोहली की 2.3 करो़ड़ रूपए की ऑडी 60 लाख रपए में खरीदी थी। पुलिस के मुताबिक कोहली गा़ड़ी के खरीदार को नहीं जानते थे, क्योंकि यह डील एक कार ब्रोकर ने कराई थी।

अमेरिकियों से ठगी के लिए चला रहे थे वाहन में फर्जी कॉल सेंटर अहमदाबाद

गुजरात पुलिस ने चलते वाहन से फर्जी कॉल सेंटर चलाने वाले गिरोह के पांच लोगों को पक़़डा है। पुलिस ने तीन वाहन भी जब्त किए हैं। गिरोह फोन पर सस्ता कर्ज का लालच देकर अमेरिकियों को ठगता था। सहायक पुलिस आयुक्त राजदीपसिंह झाला ने बताया कि पहले आरोपी एक शॉपिंग कॉम्प्लेक्स से कॉल सेंटर चला रहे थे लेकिन पुलिस की नजरों से बचने के लिए तीन माह पहले चलते वाहन से इसे चलाने लगे। आरोपियों के नाम अनूज गिरि (25 साल), अभिषषेक राजपूत (24), सौरभ यादव (21), दीपक बनवारी (24) और विवेक ठाकोर (24) हैं।

ऐसे करते थे अमेरिकियों से ठगी

आरोपी स़़डक किनारे वाहन खड़ा कर नकली नाम से अमेरिकी अंग्रेजी लहजे में अमेरिकी नागरिकों को फोन करते थे और सस्ते कर्ज की पेशकश करते थे। उनसे आईट्यून गिफ्ट कार्ड के जरिए प्रोसेसिंग फीस मांगते थे। कार्ड का नगदीकरण कराने के बाद वे पीड़ित से संपर्क तो़ड़ देते थे। पुलिस ने मैजिक जैक एप्लीकेशन व अन्य गैजेट्स भी जब्त किए हैं। इनसे आरोपियों के नंबर व लोकेशन का पी़ड़ितों को पता नहीं चल पाता था।

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