पर्रिकर बन सकते हैं गोवा के अगले सीएम, सरकार बनाने का दावा पेश
रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर ने रविवार को गोवा के राज्यपाल से मिलकर सरकार बनाने दावा पेश किया और 21 विधायकों के समर्थन की चिट्ठी सौंपी।
नई दिल्ली, जेएनएन। गोवा विधानसभा में स्पष्ट जनादेश ना मिलने के बावजूद भारतीय जनता पार्टी ने एमजीपी और जीएफपी के समर्थन के साथ सरकार बनाने का दावा किया है। इसको लेकर रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर ने रविवार को गोवा के राज्यपाल से मिलकर सरकार बनाने दावा पेश किया।
पर्रीकर ने किया सरकार बनाने का दावा पेश
राज्यपाल से मुलाकात के बाद रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर ने कहा कि यह गोवा का जनादेश है हालांकि सरकार बनाने में थोड़ी कमी रह गई है। उन्होंने कहा कि अन्य दलों के सहयोग से यह जादुई आंकड़ा पा लिया है। पर्रीकर ने आगे कहा कि हमने राज्यपाल से मुलाकात की है और ऐसी उम्मीद करता हूं कि वह हमें सरकार के लिए निमंत्रण देंगे। राज्यपाल से बुलावा मिलने के बाद हम अपने सहयोगियों से इस पर चर्चा करेंगे और शपथ ग्रहण की तारीख पर फैसला करेंगे।
गोवा, मणिपुर में कांग्रेस बड़ी पार्टी के रूप में उभरी
गोवा और मणिपुर के चुनाव में त्रिशंकु विधानसभा में कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी है। गोवा में कांग्रेस को 17 सीटें मिली हैं और उसे बहुमत के लिए चार सीटों की जरूरत है। कांग्रेस को चुने गए तीन में से दो निर्दलीय विधायकों और एनसीपी (राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी) के एक विधायक ने समर्थन का भरोसा दिया था।
दूसरी ओर, केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी रविवार सुबह ही गोवा पहुंच गए थे। उन्होंने बैठक की। इसके बाद भाजपा खेमे की ओर से रक्षा मंत्री मनोहर पर्रीकर को मुख्यमंत्री बनाने की शुरू हुई कसरत के बाद इन दोनों निर्दलीय विधायकों ने भाजपा के साथ जाने के संकेत दे दिए। तीन-तीन विधायकों वाली एमजीपी (महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी) और गोवा फारवर्ड पार्टी ने भी पर्रीकर के मुख्यमंत्री बनने की स्थिति में भाजपा का समर्थन करने का एलान कर दिया।
गोवा में 22 तक पहुंचा भाजपा का जादुई आंकड़ा
जबकि तीसरे निर्दलीय विधायक ने पहले ही भाजपा के साथ जाने की घोषणा कर दी थी। इस तरह इन सभी विधायकों को मिलाकर भाजपा को समर्थन देने वाले विधायकों का आंकड़ा 22 पहुंच रहा है जो बहुमत के लिए जरूरी 21 की संख्या से एक ज्यादा है। उसके बाद ही पर्रीकर ने राज्यपाल मृदुला सिन्हा से मिलकर औपचारिक दावा पेश कर दिया। उधर, एनसीपी के एक विधायक के साथ कांग्रेस 18 तक ही पहुंच पा रही है।
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हालांकि, गोवा में कांग्रेस की सरकार बनाने के लिए पार्टी के राष्ट्रीय प्रभारी महासचिव दिग्विजय सिंह गोवा में मौजूद हैं और छोटी पार्टियों को साधने की कसरत भी की। भाजपा की सरकार बनाने की कोशिशों में कांग्रेस को पिछड़ते देख दिग्विजय ने सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरने के आधार पर सरकार बनाने का दावा बनने की बात कह संकेत दिया कि भाजपा की कोशिशों को रोकने के लिए वह इसे आखिरी दांव के रूप में चलेगी। हालांकि उसे पता है कि आंकड़ों के खेल में वह पिछड़ चुकी है।
मणिपुर में कांग्रेस सरकार बनाने से 3 अंक दूर
दूसरी तरफ, मणिपुर में भी कांग्रेस की हालत कमोबेश यही है। पार्टी वहां 28 सीटों के साथ बहुमत के नंबर से केवल तीन अंक दूर है। मगर मणिपुर में 21 सीटें जीतने वाली भाजपा नगालैंड पीपुल्स फ्रंट (एनपीएफ) और नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) के चार-चार विधायकों, लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) के एक विधायक और एक निर्दलीय विधायक के सहारे बहुमत के लिए जरूरी 31 की संख्या हासिल करती दिख रही है। हालांकि, कांग्रेस ने अब भी अपनी कोशिशें नहीं छोड़ी हैं।
पार्टी के प्रभारी महासचिव सीपी जोशी इंफाल में कैंप कर समर्थन जुटाने की कोशिशों में लगे हैं। रविवार को निवर्तमान मुख्यमंत्री इबोबी सिंह को विधायक दल का नेता चुनकर सरकार बनाने की कसरत तेज की गई। मगर विधायकों के जरूरी नंबर नहीं जुट पाने की वजह से कांग्रेस सरकार बनाने का दावा अभी तक नहीं कर पाई और शाम होते-होते मणिपुर में सरकार बनाने के सारे समीकरण भाजपा के पक्ष में बदलते दिखाई देने लगे।
गोवा विधानसभा
कुल सदस्य- 40
भाजपा- 13
समर्थक दल :-एमजीपी- 03 जीएफपी- 03निर्दलीय- 03
कांग्रेस- 17राकांपा- 01
मणिपुर विधानसभा कुल सदस्य- 60
भाजपा- 21समर्थक दल :-एनपीएफ- 04 एनपीपी- 04एलजेपी- 01निर्दलीय- 01
कांग्रेस- 28 टीएमसी- 01
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