कश्मीर में लगातार 115वें दिन ठप रहा जनजीवन, कई इलाकों से हिंसा की खबर
अलगाववादियों ने सोमवार को पूरी वादी में बंद का एलान करते हुए सरकारी कर्मियों का सभी जिला व तहसील मुख्यालयों पर आजादी समर्थक मार्च का आह्वान किया था।
राज्य ब्यूरो, श्रीनगर । कश्मीर में अलगाववादियोंके सिलसिलेवार बंद से 115वें दिन भी सामान्य जनजीवन प्रभावित रहा। सोमवार को कहीं भी बर्खास्त और निलंबित हुए कर्मियों के खिलाफ सरकारी कर्मियों का मार्च नहीं हुआ। सिर्फ दक्षिण कश्मीर के शोपियां व पुलवामा में भड़की ¨हसा में तीन महिलाओं सहित एक दर्जन लोग जख्मी बताए जाते हैं।
गत आठ जुलाई को आतंकी बुरहान के मारे जाने के बाद से ही अलगाववादी खेमे ने कश्मीर में सिलसिलेवार बंद और राष्ट्रविरोधी प्रदर्शन जारी रखे हैं। इससे त्रस्त लोग धीरे-धीरे बंद की अवज्ञा कर सामान्य गतिविधियां शुरू कर रहे हैं। बंद लगभग दुकानों और शिक्षण संस्थानों व सार्वजनिक वाहनों पर प्रतिबंध तक सिमट गया है। सभी प्रमुख व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद हैं। सड़कों पर निजी वाहनों की आवाजाही और रेहड़ी-फड़ी वालों की भीड़ बंद को चिढ़ा रही थी।
अलगाववादियों ने सोमवार को पूरी वादी में बंद का एलान करते हुए सरकारी कर्मियों का सभी जिला व तहसील मुख्यालयों पर आजादी समर्थक मार्च का आह्वान किया था। पूरी वादी में कहीं भी कफ्र्यू नहीं था। सभी संवेदनशील इलाकों में पुलिस व अर्ध सैनिकबलों को किसी भी अप्रिय घटना से निपटने के लिए तैनात रखा था। किसी भी जगह सरकारी कर्मचारी राष्ट्रविरोधी गतिविधियों के चलते बर्खास्त अथवा निलंबित हुए कर्मियों के समर्थन में अलगाववादियों के कहने पर रैली अथवा मार्च के लिए जमा नहीं हुए। स्थिति भी लगभग हर जगह शांत रही।
पढ़ें- पाकिस्तान की खूफिया एजेंसी ISI के इशारों पर घाटी में जलाए जा रहे हैं स्कूल