बुरहानपुर में बनी देसी पिस्टल से हुई थी पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या
गौरी लंकेश हत्याकांड में प्रयुक्त पिस्टल की सप्लाई प्रदेश के बुरहानपुर जिले से हुई थी।
जबलपुर (नईदुनिया)। देश की बहुचर्चित कन्नड़ पत्रकार गौरी लंकेश हत्याकांड में प्रयुक्त पिस्टल की सप्लाई प्रदेश के बुरहानपुर जिले से हुई थी। यह खुलासा मंगलवार को एसटीएफ जबलपुर की गिरफ्त में आए दो हथियार तस्करों बुरहानपुर के गारम पाचैरी निवासी इकबाल सिंह (30) और पातल्या बास्कले (21) ने किया हैं।एसटीएफ ने आरोपितों के कब्जे से 28 देसी पिस्टल, 20 कारतूस और 6 मैगजीन बरामद की है।
महाराष्ट्र, कर्नाटक, तेलंगाना में भी की सप्लाई
एसटीएफ जबलपुर के निरीक्षक हरिओम दीक्षित ने बताया कि बुरहानपुर के खकनार स्थित पाचैरी गांव में बड़े स्तर पर अवैध हथियारों का निर्माण हो रहा है। यहां बने हथियारों की तस्करी कई प्रदेशों में की जाती थी। आरोपित मध्य प्रदेश के साथ महाराष्ट्र, कर्नाटक, तेलंगाना और अन्य प्रदेशों में हथियारों सप्लाई करते थे।
बेंगलुर में 5 सितंबर 2017 को पत्रकार गौरी लंकेश ही हत्या में प्रयुक्त 7.65 एमएम पिस्टल की सप्लाई भी करना आरोपितों ने कबूल किया है। आरोपितों के गिरोह में और कितने सदस्य हैं, उनके ठिकाने कहां हैं, इसकी जानकारी जुटाने के लिए पुलिस ने दोनों आरोपितों को 5 दिन की रिमांड पर लिया है। एसटीएफ हथियार खरीदने वालों की गिरफ्तारी के लिए दबिश देने की भी तैयारी में है।
विस चुनाव में अशांति फैलाने की थी साजिश
आरोपित इकबाल सिंह और पातल्या बास्कले ने बताया कि मध्य प्रदेश के विधानसभा चुनावों में अशांति फैलाने के लिए ज्यादा तादाद में हथियार सप्लाई करने का आर्डर उन्हें मिले थे। इन्हें रीवा, सतना में सप्लाई करना था। जिसके लिए वह निकले थे, लेकिन एसटीएफ ने इन्हें बुरहानपुर के डोईफोडिया से ही दबोच लिया।
जंगलों में बनाते थे हथियार
आरोपितों ने बताया कि वह कई साल से हथियार बनाकर सप्लाई कर रहे हैं। इसमें कई लोग और भी शामिल हैं। आरोपितों के मुताबिक वे जंगलों में अवैध हथियार बनाते थे। वहीं, कुछ लोग दूर से आने-जाने वालों पर नजर रखते थे। हथियार बनने के बाद उसका सैंपल लेकर कुछ लोग खरीदारों के पास जाते थे।
सैंपल दिखाकर करते थे बुकिंग
आरोपितों ने बताया कि उनके साथी सैंपल दिखाकर बुकिंग करते थे और फिर आर्डर मिलने के बाद उतने हथियार बनाकर सप्लाई कर देते थे। पेमेंट भी नकद ही लेते थे। यदि हथियार खरीदने वाला पुराना ग्राहक होता था, तो उससे उधारी भी कर लेते थे।
23 को मिली सूचना 24 को गिरफ्तारी
एसटीएफ जबलपुर को अवैध हथियार की फैक्ट्री की जानकारी 23 सितंबर को मिली। जिसके बाद अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक एसडब्ल्यू नकवी ने निरीक्षक हरिओम दीक्षित, एएसआई रघुवीर सरौते, विशाल सिंह के नेतृत्व में टीम का गठन कर तस्करों की गिरफ्तारी के निर्देश दिए थे।
बुरहानपुर आ चुकी है कर्नाटक पुलिस
जबलपुर के एसटीएफ निरीक्षक हरिओम दीक्षित ने कहा कि गौरी लंकेश हत्या मामले में कर्नाटक पुलिस पहले भी जांच करने बुरहानपुर आ चुकी है। मामले की जांच की जा रही है। पूरे आरोपितों को पकड़ने जाने के बाद और भी खुलासे होंगे।