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गणतंत्र दिवस पर दिखेगा भारत का दम, ASEAN के 10 देश होंगे शामिल

इस साल गणतंत्र दिवस पर आसियान देशों के 10 राष्ट्राध्यक्ष मुख्य अतिथि के तौर पर शामिल होंगे।

By Lalit RaiEdited By: Published: Thu, 11 Jan 2018 06:00 PM (IST)Updated: Fri, 12 Jan 2018 10:13 AM (IST)
गणतंत्र दिवस पर दिखेगा भारत का दम,  ASEAN के 10 देश होंगे शामिल
गणतंत्र दिवस पर दिखेगा भारत का दम, ASEAN के 10 देश होंगे शामिल

नई दिल्ली [ शिवांग माथुर ]। साल का पहला बड़ा उत्सव जिसे पूरा देश धूम-धाम से मनाता है ,उसकी तैयारियां अब ज़ोर शोर से राजपथ पर शुरू हो चुकी है। साल के आगाज़ के साथ ही 69वें गणतंत्र दिवस समारोह की तैयारियां में भी तेज़ी देखी जा सकती है । हर साल होने वाली राजपथ की परेड मे इस बार भी देश की सैन्य शक्ति जिसमे थल सेना, वायु सेना और जल सेना शामिल है अपना दम-खम का प्रदर्शन करेंगे, वहीं देश के अलग अलग राज्य की खूबसूरत झांकियां भी दर्शकों का मन लुभाने को तत्पर हैं । इस साल होने वाले राज्यो के चुनावों को ध्यान में रखते हुए सरकार ने खास तौर पर मेघलाय,मिज़ोरम,त्रिपुरा की झांकियो को राजपथ पर उतारा है,सूत्रों के मुताबिक त्रिपुरा की झांकी में बांस का काम बेहद खूबसूरत है । पंजाब की झांकी को गुरुद्वारे की शक्ल दी गयी है  जिसमे लंगर थीम रखी गयी है।

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उम्मीद जताई जा रही है कि सरकार अपनी उपलब्धियों को भी जनता के साथ साझा करने को उत्सुक है और इसीलिए सरकार पिछली बार की तरह ही इस वर्ष भी बेटी बचाओ बेटो पढ़ाओ,मेक इन इंडिया आदि जैसी योजनाओं की झांकी भी राजपथ पर उतर सकती है। जहां एक तरफ राजपथ पर डिजिटल क्रांति की एक झलक देखने को मिल सकती है,वहीं कैशलैस व्यवस्था पर ज़ोर दे रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सरकार का खासा जोर डिजिटल बैंकिंग पर भी रह सकता है।

परेड में विभिन्न केंद्रीय मंत्रालयों के साथ कुल 23 राज्यों की झांकियां भी शामिल होंगी, जिसमे खास तौर पर इस बार विदेश मंत्रालय की झांकी को बेहद खास माना जा रहा है, सूत्रों के मुताबिक विदेश मंत्रालय 10 आशियान देशो की झांकियों को परेड में उतार सकता है जिसमे इन देशों की संस्कृति की झलक देखने को मिलेगी ।

 

10 आशियान देशो के राष्ट अध्यक्ष होंगे मेहमान

रक्षा मंत्रालय की मानें तो इस बार 10 आशियान देशो के राष्ट्र अध्यक्ष या शासनाध्यक्ष विशेष अतिथि के तौर पर गणतंत्र दिवस में शामिल होंगे। ये तीसरा ऐसा मौका होगा जब आशियान देशो के प्रमुख परेड की सलामी लेंगे। इससे पहले देश के भूतपूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू और इंदिरा गांधी के समय इन देशों के प्रमुख भारत आये थे । साउथ एशियाई एसोसिएशन ऑफ रीजनल कोऑपरेशन एशिया का सबसे पुराना रीजनल ब्लॉक बताया जाता है ।

परेड में इस बार खासी नज़र पहली बार शामिल हो रही सीमा सुरक्षा बल की वीरांगनाओं पर भी होगी । देश में लगातार महिलाओं की सेनाओं में भागीदारी पर ज़ोर दिया जा रहा है। ऐसे में सीमा सुरक्षा बल पहले से ही महिलाओं को प्रोत्साहन दे रहा है। वायुसेना हो या थल सेना हर जगह महिलाओ के योगदान का लोहा पूरा देश मान रहा है।


झांकी पर नजर आएंगे पूर्व सैनिक

पिछले साल वन रैंक वन पेंशन लागू होने के बाद इस बार वायु सेना के पूर्व सैनिकों का दस्ता राजपथ पर कदमताल करने की बजाए एक झांकी वाहन पर सवार नजर आएगा। भारत की सैन्य शक्ति का नज़ारा जहां कदमताल करते जाबाज़ पेश करेंगे तो वहीं ताकत की धमक आधुनिक हथियार भी देंगे,परेड में टी-90 टैंक, सुपरसॉनिक क्रूज मिसाइल ब्राह्मोस, आकाश मिसाइल सिस्टम, स्मर्च मिसाइल सिस्टम भारत की सैन्य ताकत का प्रदर्शन करेंगे। सूत्रों की माने तो देश में डीआरडीओ द्वारा बनाई गई निर्भय नाम की सब सोनिक क्रूज मिसाइल को भी राजपथ पर उतारने की संभावना है । 

भारतीय संविधान को सम्मान देते हुए 26 जनवरी को पूरे शानो शौकत के साथ हर वर्ष गणतंत्र दिवस के तौर पर मनाया जाता है। 26 जनवरी के दिन संविधान लागू हुआ था। संविधान सभा द्वारा भारतीय संविधान की रूप रेखा तैयार हुई और उसको स्वीकृति मिली। 

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