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अफगानिस्तान में अपनी सेना नहीं भेजेगा भारत, जानिए क्या है भारत की अफ-पाक नीति

भारत ने जेम्स मैटिस दौरे में अफगानिस्तान पर अपना रुख साफ करते हुए यह जाहिर कर दिया है कि वह अफगानिस्तान में अपना सेना को नहीं भेजेगा।

By Rajesh KumarEdited By: Published: Tue, 26 Sep 2017 07:35 PM (IST)Updated: Wed, 27 Sep 2017 06:23 PM (IST)
अफगानिस्तान में अपनी सेना नहीं भेजेगा भारत, जानिए क्या है भारत की अफ-पाक नीति

नई दिल्ली, [स्पेशल डेस्क]। भारत दौरे पर आए अमेरिकी रक्षा मंत्री जेम्स मैटिस अपनी भारतीय समकक्ष निर्मला सीतारमण के साथ द्विपक्षीय वार्ता के बाद जारी किए साझा बयान में आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में भारत को साथ देने की बातें कही। जेम्स मैटिस ने कहा कि दुनिया के किसी भी देश को आतंकवाद का संरक्षण देने की इजाजत नहीं दी जाएगी। डोनाल्ड ट्रंप के अमेरिकी सत्ता में आने के बाद किसी अमेरिकी रक्षामंत्री का ये पहला भारत दौरा है। इसलिए, मेटिस के तीन दिवसीय दिल्ली दौरे को भारत-अमेरिकी रणनीतिक संबंध के लिए बेहद खास माना जा रहा है।

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अफगानिस्तान पर भारत को नीति बदलने की जरुरत
जागरण की फेसबुक चर्चा के दौरान जागरण के एसोसिएट एडिटर राजीव सचान ने बताया कि भारत को अफगानिस्तान को लेकर अपनी नीति पर नए सिरे से विचार करने की जरुरत है। उन्होंने कहा कि इसकी जरुरत आज इसलिए पड़ गई है क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति ने अफगानिस्तान की अपनी सरकार की नीति की घोषणा करते वक्त ट्रंप ने पाकिस्तान पर निशाना साधा और उसे आतंकवाद के लिए जिम्मेवार माना है। इसके साथ ही, ट्रंप ने और कई गंभीर आरोप लगाए हैं। ट्रंप ने आगे यह भी कहा कि वे अफगानिस्तान में भारत की बढ़ती हुई भूमिका को देखना चाहते हैं। मैटिस की ये यात्रा उसी संदर्भ में मानी जा रहा है।

भारत नहीं भेजेगा अफगानिस्तान में अपनी सेना
भारत ने जेम्स मैटिस के दौरे में अफगानिस्तान पर अपना रुख साफ करते हुए यह जाहिर कर दिया है कि वह अफगानिस्तान में अपनी सेना को नहीं भेजेगा। राजीव सचान ने बताया कि भारत ने ये कोई नई बात नहीं कही है बल्कि वह पहले से ही ये बात कहता आ रहा है। भारत अपनी भूमिका को अफगानिस्तान में बढ़ाने जा रहा है। ऐसा माना जा रहा है कि करीब सौ से ज्यादा नई परियोजानओं पर भारत काम करने जा रहा है। उन्होंने कहा कि भले ही भारत अपने सेना ना भेजे लेकिन इस बात पर ध्यान देने की जरूरत है कि कैसे वहां का सुरक्षा तंत्र मजबूत हो और विकास तेजी से हो।

अमेरिकी प्रशासन की मांग बेहद महत्वपूर्ण
जबकि, जागरण के एसोसिएट एडिटर गंगेश मिश्रा ने बताया कि जिस तरह से अमेरिकी प्रशासन ने इस बात की मांग है कि भारत अपनी सेना भेजे वह काफी महत्वपूर्ण है क्योंकि अमेरिका ने पहली बार भारत से इस तरह की मांग की है सीधे-सीधे। उन्होंने कहा कि भारत लगातार अफगानिस्तान के पुनर्निर्माण में मदद कर रहा है वो चाहे स्कूल, इमारत या नए संसद के निर्माण की बात हो। इसलिए, अगर अमेरिका भारत से मदद की उम्मीद कर रहा है तो इससे पाकिस्तान के ऊपर नकेल कसने में मदद भी मिलेगा।

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