अब सड़कों पर नहीं दिखेंगी जीप कंपास की 1200 गाड़ियां, जानें-क्या है वजह
कार निर्माता कंपनियों द्वारा कारों को रिकॉल करना नई बात नहीं है। लेकिन एयर बैग्स में आ रहीं खामियां चिंता की बड़ी वजह है।
नई दिल्ली[स्पेशल डेस्क]। फिएट क्रिसलर की जीप कंपास ने जब भारतीय बाजार में दस्तक दी तो ग्राहकों ने दिल खोलकर स्वागत किया। जुलाई से अब तक सड़कों पर 10 हजार से ज्यादा जीप कंपास फर्राटे भर रही हैं। लेकिन अब एफसीए ने जीप कम्पास SUV की 1200 यूनिट्स को रिकॉल किया गया है,दरअसल पैसेंजर एयरबैग में खामी की वजह से रिकॉल करने का फैसला कंपनी ने किया है। कंपनी की तरफ से एक बयान आया है कि "वह खराब एयरबैग को बदल देगी और ग्राहकों से इसके लिए किसी तरह का कोई शुल्क नहीं लेगी। इसलिए भारत में अब तक जितनी भी कंपास की डिलीवरी हुई हैं उन सभी को वापस मंगवाया है"
14.95 लाख रूपए में शुरू होती है जीप कम्पास
फिएट क्रिस्लर ने अपनी मेड इन इंडिया जीप कम्पास को भारत में 14.95 लाख रूपए की शुरूआती कीमत में लॉन्च किया था है। जीप कम्पास में दो इंजन विकल्प में उपलब्ध है जिसमें 1.4 लीटर का मल्टीएयर टर्बोचार्ज्ड पेट्रोल इंजन और 2.0 लीटर का टर्बोचार्ज मल्टीजेट डीजल इंजन दिया गया है। इसका पेट्रोल इंजन 162PS की पावर और 250Nm का टॉर्क जेनरेट करेगा जबकि इसका डीज़ल इंजन 173PS की पावर और 350Nm का टॉर्क जेनरेट करेगा, जीप कम्पास के दोनों ही इंजन के साथ 6-स्पीड मैनुअल ट्रांसमिशन से लैस हैं जबकि इसके पेट्रोल इंजन के साथ 7-स्पीड DCT का भी ऑप्शन दिया गया है
आप को उस लेटर को दिखाते हैं जिसमें ये बताया गया है कि जीप कंपास की 1200 गाड़ियों को क्यों रिकॉल किया जा रहा है।
जानकार की राय
मशहूर ऑटो एक्सपर्ट रंजोय मुखर्जी ने दैनिक जागरण से खास बातचीत में कहा कि कार कंपनियों द्वारा गाड़ियों को रिकॉल करना नई बात नहीं है। समय समय पर अलग अलग खामियों की वजह से कंपनियां इस तरह के फैसले करती हैं। किसी भी कार बनाने वाली कंपनी के लिए ग्राहकों की सुरक्षा सर्वोपरि होती है। कंपनियां सुरक्षा उपायों के लिए समय समय अपने ब्रांड्स को चेक करती रहती हैं। एयरबैग्स में खामी पर उन्होंने बताया कि एयरबैग्स मूल तौर पर कार बनाने वाली कंपनियां नहीं बनाती है। मसलन भारत में एयरबैग्स बनाने के मामले में टकाटा कंपनी अग्रणी है। होंडा की अलग अलग ब्रांड्स की कारों के बारे में उन्होंने बताया कि फ्यूल टैंक में लीकेज की जानकारी मिलने के बाद कंपनी ने कारों को रिकॉल करने का फैसला लिया। इसके पीछे कार कंपनियां ये संदेश देने की कोशिश करती हैं कि वो ग्राहकों को लेकर संवेदनशील हैं।
होंडा ने ओडीसे मिनीवैन्स को किया रिकॉल
होंडा ने करीब 900,000 ओडीसे मिनीवैन्स को अमेरिका में रिकॉल किया है। कंपनी ने इन मिनीवैन्स को दूसरी-रो की सीट्स में आ रही खराबी के चलते रिकॉल किया है। दूसरी-रो की सीटें तेजी से चलाने पर आगे गिर रहीं थी। रिकॉल किए गए वाहन 2011-17 के बीच बनाए गए हैं। अमेरिका में करीब 800,000 प्रभावित मिनीवैन्स बेची गई हैं। होंडा के मुताबिक कि इस मुद्दे से संबंधित 46 मामूली चोटों के मामले समाने आए हैं।
BMW ने किया 14 लाख कारों को रिकॉल
लग्जरी कार निर्माता कंपनी बीएमडब्ल्यू ने अमेरिका से 14 लाख कारों और एसयूवी को रिकॉल किया है। यह रिकॉल कार के अगले हिस्से में आग लगने के खतरे की वजह से किया गया है। इस रिकॉल में 740,000 कारें शामिल हैं, जिनमें 2007 से 2011 के बीच बने 328i, 328xi, 328i xDrive, 525i, 525xi, 528i, 528xi, 530i, 530xi, X3 3.0si, X3 xDrive30i, X5 xDrive30i, Z4 3.0i, Z4 3.0si और Z4 sDrive30i के कई मॉडल और 2008 से 2011 के बीच बना 128i का एक मॉडल है।
एक लिस्ट के जरिए हम आपको बताएंगे कि किन किन कार निर्माता कंपनियों ने एयर बैग्स में या दूसरी खामियों की वजह से अपनी कारों को रिकॉल किया था। होंडा कार ने 2015 में दो लाख से ज्यादा कारों को फ्यूल टैंक में खामी की वजह से रिकॉल किया। इसके अलावा 2015 में ही जनरल मोटर्स ने डेढ़ लाख से ज्यादा कारों को वापस ले लिया था।