भारत का पाक को दो टूक, कहा- कौन दे रहा आतंकियों को हथियार और ट्रेनिंग
अफगानिस्तान अपने कई प्रदेशों में बड़े आतंकी हमलों का सामना कर चुका है। यहां अस्पतालों, स्कूलों, अंत्येष्टि या अंतरराष्ट्रीय विकास एजेंसियों और राजनयिक मिशनों पर हमले हुए हैं।
न्यूयॉर्क, एएनआइ। अफगानिस्तान में पिछले कुछ समय में आतंकवादी हमलों में इजाफा हुआ है। इसकी वजह से राजनीतिक तनाव भी पैदा हो गया है। इस पर चिंता व्यक्त करते हुए भारत ने कुछ महत्वपूर्ण सवाल संयुक्त राष्ट्र के समक्ष उठाए हैं। भारत ने सीधे-सीधे कहा कि तालिबान, अल-कायदा, लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद समेत तमाम आतंकी गुटों पर बगैर सफाई दिए कार्रवाई की जानी चाहिए।
अफगानिस्तान की स्थिति पर बोलते हुए, संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी प्रतिनिधि सैयद अकबरुद्दीन से कहा है, 'क्यों अफगानिस्तान में हमलों और हिंसा को सरकार विरोधी तत्वों के ठप्पे के तहत या सिविल और राजनीतिक संघर्ष के परिणाम के रूप में देखा जाता है? कौन अफगानिस्तान में सरकार के विरोध में लड़ रहे लोगों को हथियार, धन और प्रशिक्षण प्रदान करा रहा है?'
ये बात किसी से छिपी नहीं है कि पाकिस्तान अफगानिस्तान के खिलाफ आतंकी गुटों का इस्तेमाल करता रहा है। पाक पर निशाना साधते हुए अकबरुद्दीन ने कहा कि अफगानिस्तान में शांति स्थापित करनी है, तो उसके पड़ोसी देश को उन संगठनों को सुरक्षित पनाहगाह मुहैया कराने से इनकार करना होगा, जो आतंक फैला रहे हैं। आखिर कौन से देश हैं जो आतंकियों की सुरक्षित पनाहगाह बने हुए हैं?'
अफगानिस्तान अपने कई प्रदेशों में बड़े आतंकी हमलों का सामना कर चुका है। यहां अस्पतालों, स्कूलों, अंत्येष्टि या अंतरराष्ट्रीय विकास एजेंसियों और राजनयिक मिशनों पर हमले हुए हैं। अफगानिस्तान आतंकवाद से जूझ रहा एक ऐसा राष्ट्र है जो अपने पैरों पर खड़े होने की कोशिश कर रहा है। इस दौरान अकबरुद्दीन ने चीन पर तंज कसते हुए उन्होंने यूएन में आतंकवाद जैसे मुद्दे के खिलाफ कदम उठाने पर 'अलगाव' को भी जिम्मेदार ठहराया।
इसे भी पढ़ें: शरणार्थी दिवस: एक रिफ्यूजी और सौ सवाल, यहां लम्हों में कटता है हर लम्हा