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Positive India: IIT मद्रास की यह डिवाइस घर और अस्पताल में करेगी मरीजों की निगरानी

आईआईटी मद्रास ने एक ऐसा हेल्थ मॉनिटरिंग सॉल्यूशन विकसित किया है जिसके जरिए घर और अस्पतालों में मरीजों की निगरानी की जा सकेगी। डिवाइस की कीमत रुपए 2500 से 10000 रुपए तक है।

By Vineet SharanEdited By: Published: Tue, 04 Aug 2020 08:15 AM (IST)Updated: Tue, 04 Aug 2020 08:16 AM (IST)
Positive India: IIT मद्रास की यह डिवाइस घर और अस्पताल में करेगी मरीजों की निगरानी
Positive India: IIT मद्रास की यह डिवाइस घर और अस्पताल में करेगी मरीजों की निगरानी

नई दिल्ली, अनुराग मिश्रा। आईआईटी मद्रास ने एक ऐसा हेल्थ मॉनिटरिंग सॉल्यूशन विकसित किया है, जिसके जरिए घर और अस्पतालों में मरीजों की निगरानी की जा सकेगी। इस डिवाइस को आईआईटी मद्रास हेल्थकेयर टेक्नोलॉजी इनोवेशन सेंटर (एचटीआईसी) और हेलिक्सोन ने मिलकर आईआईटी मद्रास रिसर्च पार्क में दूरस्थ रोगी निगरानी समाधानों के लिए बनाया है। हेलिक्सोन एक हेल्थकेयर स्टार्टअप है। यह डिवाइस अपने आप में अनोखी है, जो नैदानिक रूप से चार महत्वपूर्ण मापदंडों- तापमान, ऑक्सीजन संतृप्ति, श्वसन दर और हृदय गति की निरंतर निगरानी करती है।

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डिवाइस पहले से ही सार्वजनिक और निजी अस्पतालों में 2,000 से अधिक घरों में पहुंच गई है। बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए उत्पादन बढ़ाया जा रहा है। डिवाइस की कीमत रुपए 2500 से 10,000 रुपए तक है। यह डिवाइस पोर्टेबल और वायरलेस है और इसे रोगी की अंगुली पर लगाया जा सकता है। डेटा को मोबाइल फोन या केंद्रीय निगरानी प्रणाली में शामिल किया जाता है। तापमान का मापन करने के लिए इसे आर्मपिट पर लगाया जाता है। डिवाइस का इस्तेमाल पूरे साल किया जा सकता है। इस डिवाइस का प्रयोग अस्पताल और डॉक्टरों द्वारा कोरोना के अलावा पेशेंट मैनेजमेंट के लिए किया जाता है।

डिवाइस की विकास प्रक्रिया के बारे में बताते हुए आईआईटी मद्रास के फैकल्टी और हेल्थकेयर टेक्नोलॉजी इनोवेशन के प्रमुख मोहनशंकर शिवप्रकाशम ने बताया कि डॉक्टर और अस्पताल चाहते हैं कि वे ऐसी डिवाइस को स्वीकार करने पर अधिक बल दें, जिनके नतीजों के बारे में पूरी तरह से आश्वस्त हुआ जा सकता है। ऐसे में इस तरह की डिवाइस की महत्ता बढ़ जाती है। यह हमारे लिए एक बड़ी सीख और एक महत्वपूर्ण इनपुट था।

उन्होंने बताया कि इंजीनियर के सामने सबसे बड़ी चुनौती यह थी कि यह मेडिकल मॉनिटरिंग के पैमानों पर खरा उतरे। इसके साथ ही इसकी कीमत भी कम हो और बिना किसी ट्रेनिंग के लगाया जा सके।

इस तकनीक को चेन्नई के विभिन्न मेडिकल संस्थानों में जांचा-परखा गया। क्लीनिकल इनपुट के आधार पर इंजीनियरों ने ऐसी डिवाइस का निर्माण किया है, जिसकी कीमत उचित हो और इस्तेमाल करने में भी आसान हो। इसकी मदद से रोगी को घर या अस्पताल दोनों जगहों से मॉनिटर किया जा सकता है। कोरोना के समय में भी यह काफी उपयोगी है। इससे डॉक्टर और नर्स कोरोना मरीजों के निकट संपर्कों से बच सकेंगे।

हेलिक्सॉन के एमडी और फाउंडर डॉ विजय शंकर राजा का कहना है कि यह मॉनिटरिंग डिवाइस से ऊपर है। इससे अस्पताल प्रबंधन पर तनाव, चिंता, वर्कलोड कम हो जाएगा। इससे अस्पतालों में बेड की कमी जैसी समस्याओं से निपटा जा सकेगा। इसके अलावा, घर में मौजूद मरीजों में विश्वास को बढ़ाया जा सकेगा।  


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