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जालसाजी के आरोप में चेन्नई जेल पहुंचे डीएचएफएल प्रमोटर वधावन बंधु

तमिलनाडु पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने दीवान हाउसिंग फाइनेंस कारपोरेशन लिमिटेड (डीएचएफएल) द्वारा ठगे गए निवेशकों से शिकायत दर्ज कराने का आग्रह किया है। निर्देश के आधार पर डीएचएफएल वधावन बंधुओं एवं अन्य के खिलाफ एक मामला दर्ज किया गया है।

By Shashank PandeyEdited By: Published: Sat, 10 Oct 2020 08:25 AM (IST)Updated: Sat, 10 Oct 2020 08:25 AM (IST)
जालसाजी के आरोप में चेन्नई जेल पहुंचे डीएचएफएल प्रमोटर वधावन बंधु
कपिल राजेश वधावन और धीरज राजेश वधावन गिरफ्तार।

चेन्नई, आइएएनएस। तमिलनाडु पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने दीवान हाउसिंग फाइनेंस कारपोरेशन लिमिटेड (डीएचएफएल) द्वारा ठगे गए निवेशकों से शिकायत दर्ज कराने का आग्रह किया है। आर्थिक अपराध शाखा ने दोनों प्रमोटरों कपिल राजेश वधावन और धीरज राजेश वधावन को गिरफ्तार किया है और निवेशकों के साथ 218 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी करने के आरोप में दोनों चेन्नई की जेल में बंद हैं।आर्थिक अपराध शाखा के अनुसार, मद्रास हाई कोर्ट के अगस्त में दिए गए निर्देश के आधार पर डीएचएफएल, वधावन बंधुओं एवं अन्य के खिलाफ एक मामला दर्ज किया गया है।

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डीएचएफएल, दोनों वधावन बंधुओं एवं अन्य के खिलाफ आरोप है कि उन लोगों ने जमा राशि का भुगतान नहीं कर निवेशकों के साथ धोखाधड़ी की। पुलिस ने कहा कि औपचारिक रूप से फाइनेंसियल टेक्नोलॉजी ग्रुप के नाम से ज्ञात 63 मून टेक्नोलॉजी लिमिटेड के अधिकृत प्रतिनिधि जॉन दीपक ने शिकायत दर्ज कराई थी। समूह ने डीएचएफएल में 200 करोड़ रुपये का निवेश किया था।बुधवार को पुलिस ने दोनों आरोपितों को विशेष कोर्ट में न्यायिक हिरासत के लिए पेश किया था। कोर्ट ने दोनों को 15 दिनों के लिए चेन्नई के पुझाल जेल भेज दिया। दोनों को मंगलवार को मुंबई में गिरफ्तार किया गया था।

एचडीआइएल प्रमोटरों पर यस बैंक से 200 करोड़ की जालसाजी का केस

सीबीआइ ने एचडीआइएल के प्रमोटर राकेश वधावन और सारंग वधावन के साथ पीएमसी बैंक के पूर्व चेयरमैन वरयाम सिंह एवं फर्म के अन्य निदेशकों के खिलाफ यस बैंक से 200 करोड़ रुपये की कर्ज जालसाजी का मामला दर्ज किया है। आरोप है कि मैक स्टार कंपनी के लिए ली गई कर्ज की राशि एचडीआइएल की यस बैंक की देनदारियां चुकाने के लिए स्थानांतरित की गई थी। इस आशय की जानकारी बड़े भागीदार और निवेशक ओसियन डेइटी इन्वेस्टमेंट होल्डिंग्स लिमिटेड को नहीं दी गई थी। एचडीआइएल के प्रमोटरों, निदेशकों और आडिटरों ने इसकी साजिश रची थी।

सीबीआइ सूत्रों ने बताया कि यस बैंक के पूर्व प्रमोटर राणा कपूर और बैंक के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों की भूमिका भी इस मामले में जांच के दायरे में आ सकती है। एफआइआर में ये लोग आरोपित के रूप में नामजद नहीं किए गए हैं। मामला दर्ज करने के बाद सीबीआइ ने शुक्रवार को राकेश वधावन और उनके बेटे सारंग एवं पीएमसी बैंक के पूर्व चेयरमैन वरयाम सिंह के मुंबई स्थित आवासों की तलाशी ली।


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