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सीआरपीएफ डीजी बोले, जम्मू-कश्मीर में 250 आतंकी सक्रिय, आतंकवाद और पत्थरबाजी सबसे बड़ी चुनौती

युवाओं और किशोरों के लिए काउंसलिंग की व्यवस्था के अलावा उनके लिए कई खेल गतिविधियां व भारत दर्शन जैसे कार्यक्रम शुरू किए गए हैं।

By Arun Kumar SinghEdited By: Published: Fri, 24 Aug 2018 09:45 PM (IST)Updated: Fri, 24 Aug 2018 09:45 PM (IST)
सीआरपीएफ डीजी बोले,  जम्मू-कश्मीर में 250 आतंकी सक्रिय, आतंकवाद और पत्थरबाजी सबसे बड़ी चुनौती
सीआरपीएफ डीजी बोले, जम्मू-कश्मीर में 250 आतंकी सक्रिय, आतंकवाद और पत्थरबाजी सबसे बड़ी चुनौती

राज्य ब्यूरो, जम्मू।  केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के महानिदेशक आरआर भटनागर ने कहा है कि जम्मू-कश्मीर में 250 आतंकी सक्रिय हैं। उन्होंने जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद और पत्थरबाजी को सबसे बड़ी चुनौती बताया। उन्होंने कहा कि कानून- व्यवस्था से जुड़े मामलों में सुरक्षाबलों के खिलाफ एफआइआर से जवानों और अधिकारियों के मनोबल पर कोई नकारात्मक असर नहीं होता। सभी को पता है कि यह कानूनी प्रक्रिया है।

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हेल्पलाइन शुरू 
33वीं वाहिनी के मुख्यालय में उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में ही नहीं देश में कहीं भी सुरक्षाबलों को कानून का संरक्षण प्राप्त है। सीमा पार से घुसपैठ और स्थानीय स्तर पर भर्ती जारी है। युवकों में धर्माध मानसिकता पर काबू पाने और आतंकी संगठनों में उनकी भर्ती रोकने के लिए कई कदम उठाए गए हैं। मददगार के नाम से एक हेल्पलाइन भी शुरू की गई है। युवाओं और किशोरों के लिए काउंसलिंग की व्यवस्था के अलावा उनके लिए कई खेल गतिविधियां व भारत दर्शन जैसे कार्यक्रम शुरू किए गए हैं।

इस वर्ष 142 आतंकी मारे 
बकरीद के दिन कश्मीर में तीन पुलिसकर्मियों और एक भाजपा नेता की हत्या के संदर्भ में उन्होंने कहा कि इस वर्ष 142 आतंकी मारे जा चुके हैं। शुक्रवार को भी अनंतनाग में एक आतंकी मारा गया है। इससे आतंकी और उनके कमांडर हताश हो चुके हैं। इसलिए वह पुलिस और अन्य सुरक्षाकर्मियों का मनोबल गिराने के लिए निहत्थे पुलिसकर्मियों की हत्या कर रहे हैं। आबादी वाले इलाकों में शिविरों की मौजूदगी पर उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में हमारे करीब 400 बड़े शिविर हैं। राज्य सरकार की ओर से उपलब्ध कराए जाने वाले जगहों पर ही ये शिविर बनते हैं। नागरिक इलाकों में शिविरों को शरारती तत्वों के हमले से बचाने के लिए विशेष प्रबंध किए गए हैं। यही कारण है कि कुछ समय से कोई बड़ा आत्मघाती हमला कामयाब नहीं हो पाया है।

नक्सली हिंसा में 40 फीसद की कमी 
डीजी आरआर भटनागर ने कहा कि केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल न सिर्फ कश्मीर बल्कि पूर्वोत्तर और देश के नक्सल प्रभावित इलाकों में भी विभिन्न मोर्चो पर लड़ रहा है। नक्सली ¨हसा पर बहुत हद तक काबू पाया गया है। इसमें 40 फीसद तक कमी आई है। हम उन इलाकों में अपने शिविर स्थापित कर रहे हैं, जो नक्सलियों का गढ़ माने जाते हैं।


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