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सिविल सेवा दिवस : छत्तीसगढ़ में महिला अफसरों के हाथ में कोरोना के खिलाफ जंग की कमान

छत्तीसगढ़ के प्रशासन में महिला आइएएस अफसरों का दबदबा है। स्वास्थ्य कृषि पंचायत और नगरीय प्रशासन विभाग से लेकर बजट और राजस्व की कमान नारी शक्ति के हाथों में हैं। इतिहास में पहली बार हुआ है कि एक साथ इतने विभागों की कमान महिला अफसरों को सौंपी गई है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Tue, 20 Apr 2021 09:20 PM (IST)Updated: Tue, 20 Apr 2021 09:20 PM (IST)
सिविल सेवा दिवस : छत्तीसगढ़ में महिला अफसरों के हाथ में कोरोना के खिलाफ जंग की कमान
छत्तीसगढ़ में कई महत्वपूर्ण विभाग चला रहीं नारी शक्ति।

रायपुर, राज्य ब्यूरो। छत्तीसगढ़ के प्रशासन में महिला आइएएस अफसरों का दबदबा है। राज्य में स्वास्थ्य, कृषि, पंचायत और नगरीय प्रशासन विभाग से लेकर बजट और राजस्व की कमान इस वक्त नारी शक्ति के हाथों में हैं। राज्य के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है कि एक साथ इतने विभागों की कमान महिला अफसरों को सौंपी गई है।

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कोरोना के खिलाफ जंग की कमान महिला अफसरों ने संभाली

कोरोना वायरस के संक्रमण की वजह से इस वक्त स्वास्थ्य विभाग की भूमिका सबसे महत्वपूर्ण बनी हुई है। कोरोना के खिलाफ जंग की कमान भी महिलाओं ने ही संभाल रखी है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग में तीन महत्वपूर्ण पदों पर महिला अफसर पदस्थ हैं। विभाग की प्रमुख अतिरिक्त मुख्य सचिव रेणु जी पिल्ले हैं। सचिव का पद शहला निगार संभाल रही हैं, तो डॉ. प्रियंका शुक्ला विभाग की संयुक्त सचिव के साथ, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की डायरेक्टर और राज्य के टीकाकरण की भी कमान संभाल रही हैं। इनमें निगार को हाल ही में स्वास्थ्य सचिव की जिम्मेदारी गई हैं। पिल्ले और डॉ. शुक्ला लंबे समय से कमान संभाले हुए है।

छत्तीसगढ़ में पहली बार महिला आइएएस वित्त विभाग की सचिव 

वित्त विभाग में पहली बार महिला आइएएस वित्त विभाग की अलरमेलमंई डी सचिव हैं। राज्य में ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी महिला को वित्त विभाग का सचिव बनाया गया है। वित्त सचिव के साथ ही वित्त डायरेक्टर जैसा महत्वपूर्ण पद भी महिला आइएएस शारदा वर्मा संभाल रही हैं।

महिला बाल विकास विभाग में पहली बार एक साथ तीन महिलाएं- सचिव, डायरेक्टर, महिला मंत्री

महिला बाल विकास विभाग में भी संयोग रीना बाबा साहेब कंगाले महिला एवं बाल विकास विभाग की सचिव हैं। दिव्या मिश्रा इस विभाग की डायरेक्टर हैं, जबकि प्रदेश सरकार में एक मात्र महिला मंत्री अनिला भेड़िया इस विभाग की मंत्री हैं। ऐसा पहली बार हुआ है जब एक साथ तीन महिलाएं इन पदों पर हैं। विभागीय मंत्री हमेशा से महिला ही रही हैं, लेकिन उनके साथ सचिव और डायरेक्टर पहली बार महिलाएं हैं।

158 आइएएस में 32 महिलाएं हैं

158 में केवल 32 महिलाएं राज्य कैडर में कुल 158 आइएएस हैं। इनमें 32 महिलाएं हैं। 23 महिला अफसर संयुक्त सचिव से ऊपर के रैंक पर हैं। इनमें से चार केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर हैं। एक चाइल्ड केयर लीव पर हैं, जबकि एक बिना विभाग के मंत्रालय में पदस्थ हैं। एक महिला अफसर इंटर स्टेट प्रतिनियुक्ति पर उत्तर प्रदेश में सेवाएं दे रही हैं।

एक संभागीय आयुक्त व दो कलेक्टर राज्य में कुल पांच संभाग हैं। इनमें एक मात्र सरगुजा संभाग में जिनेविवा किंडो आयुक्त हैं। कोरबा में किरण कौशल और गौरेला-पेंड्रा- मरवाही जिले में नम्रता गांधी कलेक्टर हैं।

कृषि, पंचायत और नगरीय प्रशासन विभाग भी महिला अफसरों के हवाले

कृषि और पंचायत के साथ शहरों का विकास भी राज्य में कृषि, पंचायत और नगरीय प्रशासन विभाग भी महिला अफसरों के हवाले है। म¨नदर कौर ग्रामीण विकास तो एम. गीता कृषि विभाग संभाल रही हैं। वहीं, अरलमेलमंगई डी वित्त के साथ ही नगरीय प्रशासन विभाग की भी सचिव हैं, जबकि रीता शांडिल्य राजस्व विभाग की सचिव हैं। यह भी संयोग है कि राज्य की मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी (सीईओ) की जिम्मेदार रीना बाबा साहेब कंगाले संभाल रही हैं।


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