कालेधन के मामले को चिदंबरम परिवार ने झूठा बताया
चिदंबरम परिवार की ओर से शनिवार को सीए ने कहा कि उनके परामर्श से आयकर रिटर्न तैयार कर दायर किए गए हैं।
नई दिल्ली, प्रेट्र। पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री पी. चिदंबरम के परिजनों ने कहा कि काले धन के कानून के तहत उनके खिलाफ दायर आयकर विभाग के आरोप पत्र में झूठे आरोप लगाए गए हैं। उन्होंने कहा कि जिन ओवरसीज निवेशों पर सवाल उठाए गए हैं, वह उनके आइटी रिटर्न से पहले ही जाहिर हो रहे हैं।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता चिदंबरम की पत्नी नलिनी, उनके एक बेटे कार्ति चिदंबरम, बहू श्रीनिधि और एक कंपनी चेस ग्लोबल एडवाइजरी सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड के चार्टड एकाउंटेंट (सीए) ने चिदंबरम परिवार की ओर से आयकर विभाग की कार्रवाई दो एकसमान जवाब जारी किए। चिदंबरम परिवार की ओर से शनिवार को सीए ने कहा कि उनके परामर्श से आयकर रिटर्न तैयार कर दायर किए गए हैं। जिन निवेशों पर सवाल उठाए जा रहे हैं, वह बैंकों के जरिए भेजे गए थे।
आयकर अधिनियम की धारा 139 के तहत इसका ब्योरा संबंधित वित्तीय वर्ष में दिया गया है। उन्होंने बयान में कहा कि विगत शुक्रवार को चेन्नई की अदालत में आइटीडी अभियोजन की शिकायतों का वह कानून के दायरे में कड़ा विरोध करेंगे। उल्लेखनीय है कि काले धन (अज्ञात विदेशी आय और संपत्ति) और अमल कर अधिनियम, 2015 की धारा 50 के तहत विगत शुक्रवार को आयकर विभाग ने चेन्नई की एक विशेष अदालत में चार आपराधिक मामले दर्ज कराए हैं। इसमें नलिनी चिदंबरम, कार्ति, श्रीनिधि और कार्ति की एक फर्म (चेस ग्लोबल) को आरोपी बनाया गया है। इन पर ब्रिटेन के बारटन और कैम्बि्रज में क्रमश: 5.37 करोड़ रुपये और 80 लाख रुपये की अघोषित संपत्ति बनाने के आरोप हैं। जबकि अमेरिका में 3.28 करोड़ की अघोषित संपत्ति बताई जाती है।