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इंफाल, चेन्नई और रांची में भी खुलेंगे एनआइए के दफ्तर; केंद्रीय गृह मंत्रालय ने दी मंजूरी

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी की तीन अतिरिक्त शाखाओं को इम्फाल चेन्नई और रांची में स्थित करने की मंजूरी दी है। भारत में आतंकवाद को समाप्त करने के लिए एनआईए (NIA) का गठन किया गया है। वर्ष 2008 में भारत पर मुंबई हमला हुआ था।

By Dhyanendra SinghEdited By: Published: Mon, 28 Sep 2020 07:22 PM (IST)Updated: Mon, 28 Sep 2020 07:22 PM (IST)
इंफाल, चेन्नई और रांची में भी खुलेंगे एनआइए के दफ्तर; केंद्रीय गृह मंत्रालय ने दी मंजूरी
एनआइए (NIA) भारत की एक राष्ट्रीय जाँच एजेंसी है।

नई दिल्ली, प्रेट्र। गृह मंत्रालय ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) के तीन नए कार्यालय खोलने को मंजूरी दी है। ये दफ्तर इंफाल, चेन्नई और रांची में खोले जाएंगे। एनआइए के अधिकारी ने सोमवार को बताया कि यह फैसला प्रमुख आतंकवाद विरोधी जांच एजेंसी के लिए संबंधित राज्यों में उभरने वाली किसी भी स्थिति से निपटने में मददगार साबित होगा। यह फैसला एनआइए की आतंकवाद से संबंधित मामलों और अन्य राष्ट्रीय सुरक्षा संबंधी मुद्दों की जांच क्षमता को मजबूत करेगा।

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वर्तमान में एनआइए के नौ कार्यालय हैं जो गुवाहाटी, मुंबई, जम्मू, कोलकाता, हैदराबाद, कोच्चि, लखनऊ, रायपुर और चंडीगढ़ में स्थित हैं। अधिकारी ने बताया कि इसके अलावा नई दिल्ली स्थित मुख्यालय में इस जांच एजेंसी की विशेष इकाई है। तीन कार्यालय खोलने के फैसले से जांच एजेंसी के तीन मुख्य विजन को साकार करने में मदद मिलेगी। इसके तीन विजन में आतंकवाद से प्रभावी मुकाबला और आतंक विरोधी जवाबी ढांचा को मजबूत करना शामिल है।

भारत की राष्ट्रीय जांच एजेंसी है एनआइए

बता दें कि एनआइए भारत की एक राष्ट्रीय जांच एजेंसी है, जो आतंकवादी गतिविधियों को रोकने और भारत में आतंकवाद को समाप्त करने की दिशा पर कार्य करती है। भारत सरकार ने इसे विशेष अधिकार प्रदान किये है, जिससे आतंकवादी गतिविधियों में संलिप्त पाए जाने वाले लोगों पर ठोस कार्यवाही करके उनकी सम्पति तक सीज करना और उस व्यक्ति या संगठन को आतंकवादी घोषित करना है। इसमें राज्य सरकार को हस्तक्षेप करने का अधिकार नहीं है।

भारत में आतंकवाद को समाप्त करने के लिए एनआईए (NIA) का गठन किया गया है। वर्ष 2008 में भारत पर मुंबई हमला हुआ था। जिसके बाद एक जांच एजेंसी की आवश्यकता हुई जो केंद्र सरकार के अधीन हो और वह आतंकवादी गतिविधियों पर नजर बना कर उनको विफल कर सके। इसका गठन आतंकवाद को धन उपलब्ध कराने, आतंकी हमलों की घटनाओं और उससे जुड़े लोगों की जाँच करना है। 


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