Move to Jagran APP

बाढ़ में फंसे असम के 58 लाख लोग, नदियां उफान पर, 30 की मौत, बेघर लोग खाने को मोहताज

धुबरी जिला कारागार में पानी घुसने के बाद वहां के सभी 409 कैदियों को महिला महाविद्यालय में रखा गया है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Thu, 18 Jul 2019 02:35 AM (IST)Updated: Thu, 18 Jul 2019 07:24 AM (IST)
बाढ़ में फंसे असम के 58 लाख लोग, नदियां उफान पर, 30 की मौत, बेघर लोग खाने को मोहताज
बाढ़ में फंसे असम के 58 लाख लोग, नदियां उफान पर, 30 की मौत, बेघर लोग खाने को मोहताज

नई दिल्ली, जेएनएन। पूर्वोत्तर भारत की नदियों के जलस्तर में जारी उफान के बीच असम के 58 लाख से भी ज्यादा लोग बाढ़ में फंसे हुए हैं। उनके सामने खाना-पानी का भी संकट पैदा हो गया है। बाढ़ के कारण  हैं और 30 से भी ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान में एक गैंडे की भी मौत की सूचना है। डेढ़ लाख से भी ज्यादा लोग बेघर हो गए हैं और 472 राहत शिविरों तथा 392 राहत वितरण केंद्रों में शरण लेने को मजबूर हैं।

loksabha election banner

धुबरी जिला कारागार में पानी घुसने के बाद वहां के सभी 409 कैदियों को महिला महाविद्यालय में रखा गया है। बड़ी संख्या में लोग ग्वालपाड़ा व जोगीघोपा स्थित रेलवे तटबंधों पर शरण लिए हुए हैं। इसके कारण रेलवे ने इस मार्ग पर ट्रेनों की गति निर्धारित कर दी है।

एक अधिकारी ने बताया कि 58 लाख से भी ज्यादा लोग बाढ़ में फंस गए हैं। बुधवार को असम में ब्रह्मपुत्र व उसकी सहायक नदियों जलस्तर का कम से कम 10 स्थानों पर खतरे की निशान से ऊपर रहा। असम के लखीमपुर जिले के एक राहत शिविर में महिला ने बताया कि वे लोग पिछले सात दिनों से केवल चावल खाकर जिंदा हैं। गंदा पानी पीना पड़ रहा है।

एनडीआरएफ के प्रवक्ता ने बताया कि बाढ़ प्रभावित विभिन्न राज्यों के 11 हजार से ज्यादा लोगों को बचाने में उनकी टीम कामयाब रही है। इनमें ज्यादातर लोग असम व बिहार के हैं। राहत व बचाव कार्य में 100 से ज्यादा टीमें तैनात की गई हैं।

मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने एक बयान में बताया कि बाढ़ प्रभावित जिलों को 75.95 करोड़ रुपये अग्रिम तौर पर जारी कर दिए गए हैं। उपायुक्तों को सभी आवश्यक कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने करीमगंज जिले का दौरा कर हालात का जायजा लिया।

उधर, त्रिपुरा में बाढ़ की स्थिति में सुधार हो रहा है। बुधवार को खोवाई और हाओरा नदियों का जलस्तर घटा है। राहत शिविरों में शरण लेने वाले लोग वापस लौटने लगे हैं।

असम व बिहार को लेकर कांग्रेस ने केंद्र सरकार को घेरा

असम व बिहार से आने वाले कांग्रेस सांसदों ने दोनों राज्यों में बाढ़ की निगरानी को लेकर लोकसभा में केंद्र सरकार को घेरा। कांग्रेस के गौरव गोगोई ने केंद्र से असम की बाढ़ को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग की। मुहम्मद जावेद ने कहा कि केंद्र ने बिहार के बाढ़ प्रभावितों की कोई मदद नहीं की। लोग चूहा खाने को मजबूर हैं।

भाजपा के रामकृपाल यादव ने कांग्रेस पर सदन को गुमराह करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि बिहार को 261 करोड़ रुपये दिए गए हैं और राज्य व केंद्र की सरकारें राहत व बचाव का काम कर रही हैं। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.