Delhi School Fee 2021: प्राइवेट स्कूलों की फीस मे 15 फीसदी की कटौती का दिल्ली शिक्षा निदेशालय ने दिये आदेश
Delhi School Fee 2021 दिल्ली सरकार के शिक्षा निदेशालय ने वीरवार 2 जुलाई 2021 को आदेश जारी करते हुए कहा है कि वे शैक्षणिक वर्ष 2020-21 के दौरान इस्तेमाल न की सुविधाओं के मद्देनजर निजी और गैर-वित्तीय सहायता प्राप्त स्कूलों को वार्षिक स्कूल फीस में 15 फीसदी की कमी करें।
नई दिल्ली, ऑनलाइन डेस्क। Delhi School Fee 2021: कोविड-19 महामारी के चलते आर्थिक रूप से कठिनाई झेल रही पैरेंट्स को बड़ी राहत देते हुए दिल्ली सरकार ने सभी निजी स्कूलों को स्कूल फीस में 15 फीसदी कटौती के आदेश दिये हैं। दिल्ली सरकार के शिक्षा निदेशालय ने वीरवार 2 जुलाई 2021 को आदेश जारी करते हुए कहा है कि वे शैक्षणिक वर्ष 2020-21 के दौरान इस्तेमाल न की सुविधाओं के मद्देनजर निजी और गैर-वित्तीय सहायता प्राप्त स्कूलों को वार्षिक स्कूल फीस में 15 फीसदी की कमी करें। अपने आदेश में दिल्ली शिक्षा निदेशालय ने निजी स्कूलों को साथ ही यह भी आदेश दिये कि वे यदि स्टूडेंट्स की फीस ले चुके हैं तो उसे 10 जून 2021 से छह बराबर मासिक किस्तों में वापस करें।
‘स्टूडेंट्स में भेदभाव न करें’
इसके साथ ही, निदेशालय ने दिल्ली के प्राइवेट स्कूलों से कहा है कि वे महामारी के चलते गैर-परंपरागत शिक्षण यानि ऑनलाइन एजुकेशन, स्टडी मैटेरियल और कक्षाओं के लिए स्टूडेंट्स में भेदभाव न करें और सभी स्टूडेंट्स को अटेंड करने के लिए पासवर्ड और आईडी उपलब्ध कराएं। निदेशालय के नोटिस के अनुसार , “स्कूलों के प्रमुख, किसी भी मामले में, ऐसे छात्रों / अभिभावकों को शैक्षिक सुविधाओं / कक्षाओं / सामग्रियों आदि की ऑनलाइन पहुँच प्राप्त करने के लिए आईडी और पासवर्ड से इनकार नहीं करेंगे, जो (कोरोना महामारी की रोकथाम के चलते) लगे लॉकडाउन होने से उत्पन्न वित्तीय संकट, लॉकडाउन के दौरान या परिवार के ब्रेड ऑनर की मृत्यु, बच्चे के माता-पिता की मृत्यु, कोविड-19 के कारण व्यावसायिक गतिविधियाँ के कारण स्कूल की फीस का भुगतान करने में असमर्थ हैं।”
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प्राइवेट अन-ऐडेड स्कूलों को शैक्षणिक सत्र 2020-21 के लिए फीस का नया शीर्ष बनाकर अतिरिक्त वित्तीय बोझ नहीं डालने के निर्देश में निदेशालय द्वारा जारी किये गये हैं। निदेशालय ने स्कूलों से कोविड से प्रभावित छात्रों के लिए “सहानुभूतिपूर्वक” और रियायतें मांगने के लिए “केस टू केस” आधार पर विचार करने को कहा है।