गांगा के लिए बड़े औद्योगिक घरानों ने खोली तिजोरी
बाकी परियोजनाओं के लिए जल्द ही निविदाएं जारी की जाएंगी, उन पर मार्च-2018 तक काम शुरू करने की योजना है।
मुंबई, प्रेट्र। गंगा नदी के पुनरुद्धार के लिए देश-विदेश के बड़े औद्योगिक घरानों ने अपनी तिजोरियां खोल दी हैं। केंद्रीय नदी विकास और गंगा पुनरुद्धार मंत्री नितिन गडकरी ने गुरुवार को बताया कि अंतरराष्ट्रीय एवं घरेलू कंपनियों और उद्यमियों ने इस परियोजना के लिए 1,500 करोड़ रुपये की प्रतिबद्धता व्यक्त की है।
पत्रकारों से बातचीत में गडकरी ने कहा कि गंगा के पुनरुद्धार पर चर्चा के लिए उन्होंने 150 से ज्यादा उद्योगपतियों, मुख्य कार्यकारी अधिकारियों और प्रबंध निदेशकों को आमंत्रित किया था। उन्होंने बताया, 'पिछले हफ्ते मैं परियोजना (गंगा पुनरुद्धार) के प्रमोशन के लिए एक रोड शो की शुरुआत के लिए लंदन में था। विभिन्न संस्थानों और ब्रिटेन के कारोबारी जगत ने इस परियोजना के लिए 1,000 करोड़ रुपये की प्रतिबद्धता व्यक्त की है।
इसके अलावा घरेलू उद्योग जगत ने भी 500 करोड़ रुपये की प्रतिबद्धता जताई है।' उन्होंने बताया कि ब्रिटेन के अग्रणी उद्यमियों ने पटना, कानपुर, हरिद्वार और कोलकाता में रिवरफ्रंट के उत्थान और घाटों के विकास का काम अपने हाथ में लिया है। लंदन के बाद अब उनकी योजना चेन्नई, बेंगलुरु और कोलकाता जैसे बड़े शहरों का दौरा करने की है।
केंद्र के अनुमान के मुताबिक इस पूरी परियोजना पर 20 हजार करोड़ रुपये की लागत आएगी। गडकरी ने बताया कि अब तक 97 परियोजनाओं की घोषणा की जा चुकी है और इनमें से करीब 55 पर काम शुरू हो चुका है। लगभग 15 को सार्वजनिक-निजी भागीदारी मॉडल के तहत पूरा किया जाएगा और उनका संचालन निजी हाथों में रहेगा।
बाकी परियोजनाओं के लिए जल्द ही निविदाएं जारी की जाएंगी, उन पर मार्च-2018 तक काम शुरू करने की योजना है। गंगा किनारे के 4,500 से ज्यादा गांवों और कस्बों के विकास पर गडकरी ने कहा कि सरकार इन गांवों का समग्र विकास करने की परियोजना पर काम कर रही है।
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