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नए संसद भवन के उद्घाटन विवाद पर देवेन्द्र फडणवीस का करारा जवाब, कहा- विपक्ष का दोहरा रवैया

प्रधानमंत्री द्वारा संसद भवन के उद्घाटन को लेकर विपक्ष लगातार भाजपा को घेरने की कोशिश कर रहा है। विपक्ष का कहना है कि संसद भवन का उद्घान राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू द्वारा किया जाना चाहिए। इस बात को लेकर महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम ने विपक्ष को जवाब दिया है।

By AgencyEdited By: Shalini KumariThu, 25 May 2023 04:51 PM (IST)
नए संसद भवन के उद्घाटन विवाद पर देवेन्द्र फडणवीस का करारा जवाब, कहा- विपक्ष का दोहरा रवैया
संसद भवन के उद्घाटन को लेकर विपक्ष को फडणवीस ने दिया जवाब

मुम्बई, एएनआई। कांग्रेस लगातार मांग कर रही है कि संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू द्वारा किया जाना चाहिए। जिसके बाद महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने गुरुवार को विपक्ष पर तंज कसते हुए कहा कि यह विपक्षी दलों के दोगले स्वभाव को दिखाता है।

भाजपा नेता ने कांग्रेस को घेरा

भाजपा नेता ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और राजीव गांधी ने भी 1975 और 1987 में संसद और संसद भवन का उद्घाटन किया था। फडणवीस ने कहा, "यह एक नए पुनरुत्थान भारत का प्रतीक है। पूरी दुनिया यह देखकर हैरान है कि भारत तीन साल की अवधि में इतनी बड़ी संसद का निर्माण कर सकता है।"

भाजपा नेता ने कहा, "इन (विपक्षी) लोगों का दोहरा चेहरा देखें। वे कहते हैं कि राष्ट्रपति को संसद भवन का उद्घाटन करना चाहिए और फिर इंदिरा गांधी ने संसद भवन का उद्घाटन किया, तब यह मुद्दा क्यों नहीं उठा?"

फडणवीस ने बताया कि पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने संसद के पुस्तकालय का उद्घाटन किया था। उन्होंने कांग्रेस का नाम लिए बगैर सवाल किया, "फिर यह मुद्दा क्यों नहीं उठा।"

केन्द्रीय मंत्री ने विपक्ष को दिया जवाब

केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने मंगलवार को कांग्रेस की ओर से शुरू किए गए उस विवाद के बारे का जिक्र किया, जिसमें भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को नए संसद भवन के उद्घाटन के लिए आमंत्रित करने की मांग की गई थी। पुरी ने कहा कि 1975 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने संसद एनेक्सी का उद्घाटन किया था और बाद में 1987 में पीएम राजीव गांधी ने संसद पुस्तकालय का उद्घाटन किया।

पीएम मोदी द्वारा नवनिर्मित संसद भवन के उद्घाटन के साथ ही विपक्ष ने राष्ट्रपति मुर्मू द्वारा भवन का उद्घाटन करने की मांग को लेकर राजनीतिक खींचतान शुरू कर दी है।

20 विपक्षी पार्टियों ने किया उद्घाटन में आने से इनकार

बीस विपक्षी दलों ने कहा है कि वे नए संसद भवन के अनावरण समारोह का बहिष्कार करेंगे। इनमें कांग्रेस, एआईयूडीएफ, डीएमके, आम आदमी पार्टी, शिवसेना (यूबीटी), समाजवादी पार्टी, टीएमसी, जनता दल (यूनाइटेड), राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी), राजद, इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग, नेशनल कांफ्रेंस, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी, झारखंड मुक्ति मोर्चा, केरल कांग्रेस (मणि), विधुथलाई चिरुनथिगल काची, राष्ट्रीय लोकदल, क्रांतिकारी, सोशलिस्ट पार्टी और मरुमलार्ची द्रविड़ मुनेत्र कड़गम का नाम शामिल है।

28 मई को होगा उद्घाटन

पीएम मोदी और लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला 28 मई को नए संसद भवन को राष्ट्र को समर्पित करेंगे। पीएम मोदी ने 10 दिसंबर, 2020 को नए संसद भवन का शिलान्यास किया। इसे रिकॉर्ड समय में गुणवत्तापूर्ण निर्माण के साथ बनाया गया है।

नए भवन में होंगी ज्यादा सीटें

वर्तमान के संसद भवन में लोक सभा में 543 तथा राज्य सभा में 250 सदस्यों के बैठने की सुविधा है। इसके अलावा, आगे की जरूरतों को देखते हुए संसद के नवनिर्मित भवन में लोकसभा में 888 और राज्य सभा में 384 सदस्यों की बैठक कराने की व्यवस्था की गई है। दोनों सदनों का संयुक्त सत्र लोकसभा कक्ष में होगा।